इंदौर। नगर निगम ने डामर की सडक़ों पर व्हाइट टापिंग का कार्य मेडिकल कालेज के समीप पिछले दिनों किया था और इसका प्रयोग सफल रहने के बाद अब रीगल से पलासिया तक की डामर की सडक़ को व्हाइट टापिंग किया जाएगा। इसके साथ ही रीगल से मधुमिलन तक के हिस्से में भी यह कार्य होगा। इसके लिए 14 करोड़ का प्रोजेक्ट है और दोनों स्थानों पर सर्वे चल रहा है।
नगर निगम द्वारा हर साल डामर की सडक़ों पर करोड़ों की राशि खर्च की जाती है, मगर उसके बाद भी सडक़ों की स्थिति बदहाल रहती है। पिछले दिनों जयपुर, उदयपुर की कुछ कंपनियों ने निगम अफसरों के सामने प्रेजेंटेशन दिया था और उसके बाद निगम ने प्रयोग के तौर पर मेडिकल कालेज और एमवाय के समीप कुछ स्थानों पर डामर की सडक़ों पर व्हाइट टापिंग का कार्य कराया था। इस पद्धति के तहत डामर की सडक़ों की ऊपरी सतह पर केमिकलयुक्त सीमेंटीकरण किया जाता है और कुछ ही घंटों में वहां किया गया कार्य पूरा हो जाता है। 8 से 10 घंटे में यातायात भी शुरू कर दिया जाता है। जनकार्य समिति प्रभारी राजेंद्र राठौर का कहना है कि यह प्रक्रिया कम खर्चीली है और एक ही बार इसमें निगम को राशि खर्च करना होगी और करीब 20 वर्षों तक की गारंटी संबंधित कंपनी सडक़ों के मामले में ले रही है। इसके चलते अब रीगल से पलासिया तक की वर्षों पुरानी डामर की सडक़ पर भी यह कार्य कराने की तैयारी है। रास्ते में कई जगह सडक़ों पर गड््ढों के कारण दुर्घटनाओं का अंदेशा बना रहता है। इसी के लिए निगम की टीम उक्त मार्ग पर सर्वे कर रही है और आने वाले दिनों में वहां की सडक़ों पर भी व्हाइट टापिंग कराने का कार्य शुरू कराने की तैयारी है। इसके साथ ही रीगल से मधुमिलन तक के हिस्से में भी व्हाइट टापिंग सडक़ बनाई जाएगी। दोनों प्रोजेक्ट पर 14 करोड़ की राशि खर्च होगी और बदले में निगम द्वारा संबंधित एजेंसियों से गारंटी की समयावधि बढ़वाई जाएगी।
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