विदिशा संवाददाता
युवा पीढ़ी में नशे की आदत काफी बड़ी मात्रा में देखी जा रही है। यहां तक की युवा वर्ग भी नशे की चपेट में कुछ इस प्रकार से आ रहा है कि उन्हें नशे के अलावा कुछ दिखाई ही नहीं देता है। शहर में देश में गली मोहल्लों में आए दिन बड़ी बड़ी घटनाएं दुर्घटनाएं घट रही है जिनका मुख्य कारण नशा ही देखा जा रहा है हमारे समाज में युवा पीढ़ी को नशे की ओर अग्रसर होते देख किसे दुख नहीं होगा। दुर्भाग्य से पिछले कई समय से युवा पीढ़ी नशे की आदी होती जा रही है जहां कुछ लोग अपनी मर्जी से नशा करते हैं कुछ शौकिया होते हैं। जो बाद में अपने आप को नशे की आग में झोंक देते हैं परंतु कुछ कुछ कुसंगति के कारण इस लत का शिकार हो ही जाते हैं नशा सिर्फ एक इंसान को ही बर्बाद नहीं करता बल्कि वह उसके आसपास रहने वाले एवं उसके परिवार के उन लोगों की सेहत के साथ भी खिलवाड़ करता है जो उस व्यक्ति के संपर्क मैं होते हैं नशा लोगों के घर बर्बाद कर देता है।
शहर के लोगों का कहना
नशा करने के नुकसान क्या है?
अगर कोई व्यक्ति यह सोचता है कि नशा करने से सिर्फ उसकी बॉडी को ही नुकसान होता है तो ऐसा नहीं है। नशा करने से व्यक्ति अपनी जिंदगी तो तबाह करता ही है, साथ ही वह अपने साथ जुड़े हुए अन्य लोगों की भी जिंदगी तबाह करता है। नशा करने वाले व्यक्ति के घर में हमेशा लड़ाई झगड़े होते रहते हैं जिसके कारण उसका घर टूटने की कगार पर पहुंच जाता है, क्योंकि लड़ाई झगड़ा होने के कारण घर के लोगों में आपसी मनमुटाव अपने चरम सीमा पर पहुंच जाता है। इसके अलावा जो व्यक्ति नशा करता है उसकी पत्नी भी उसे छोड़कर चली जाती है क्योंकि कोई भी महिला किसी भी ऐसे व्यक्ति के साथ नहीं रह पाएगी, जो नशे का सेवन करता है, क्योंकि नशे का सेवन करने के बाद व्यक्ति को यह पता ही नहीं होता है कि वह क्या कर रहा है, वह नशे में अपने परिवार वालों के साथ मारपीट करता है, साथ ही गाली गलौज भी करता है। यहां तक कि कई लोग तो हिंसक मारपीट भी करने लगते हैं।
नशा करने पर आदमी की बॉडी धीरे-धीरे खराब होने लगती है और उसे अनेक प्रकार की बीमारियां अपनी गिरफ्त में ले लेती है। इस प्रकार बीमारियों का इलाज करवाने में उसे पैसे खर्च करने पड़ते हैं। इस प्रकार अगर उसकी आर्थिक स्थिति खराब है तो उस पर आर्थिक बोझ भी धीरे-धीरे बढ़ता जाता है और वह कर्ज के दलदल में फंस जाता है। नशा करने पर आदमी को सामाजिक बेज्जती भी सहनी पड़ती है। लोग उसे इज्जत की निगाहों से नहीं देखते हैं। इस प्रकार समाज में उसकी इज्जत भी कम हो जाती है। नशा करने के कारण व्यक्ति की आर्थिक स्थिति डांवाडोल हो जाती है और हमेशा नशे में डूबे रहने के कारण उसे अपने काम धंधे से भी हाथ धोना पड़ता है। क्योंकि कोई भी व्यक्ति ऐसे आदमी को काम पर नहीं रखता है जिसे होश ही नहीं होता है। कुल मिलाकर देखा जाए तो नशा करने वाले व्यक्ति को लोग हीकारत भरी नजरों से देखते हैं और उसे हमेशा अपने आप से दूर ही भगाते रहते हैं, क्योंकि ऐसे व्यक्ति की समाज में कोई भी इज्जत नहीं होती है।
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