इंदौर। 80 वर्ष की उम्र पार कर चुके मतदाताओं के लिए यदि भारी बारिश हुई तो मतदान की प्रक्रिया मुश्किल हो जाएगी। उन्हें मतदान बूथों तक कौन लेकर जाएगा। कई क्षेत्रों के मतदाता या तो परिवार में अकेले हैं या उनकेबच्चे विदेशों में या अन्य शहरों में नौकरियां कर रहे हैं। विभाग द्वारा इन मतदाताओं के लिए कोई विशेष सूचना जारी नहीं की गई है।
जुलाई को 2250 मतदान केंद्रों पर होने वाले चुनाव की प्रक्रिया तेज हो गई है। जहां 9000 मतदानकर्मियों को चुनाव करवाने के लिए तैनात किया गया है, वहीं 2000 कर्मचारी 5 तारीख को सामग्री वितरण में अपनी जिम्मेदारी निभाएंगे, लेकिन निर्वाचन विभाग द्वारा बुजुर्ग मतदाताओं को भारी बारिश के दौरान मतदान केंद्रों तक जाने के लिए कोई विशेष सुविधा मुहैया कराए जाने की व्यवस्था नहीं की गई है। शहरी क्षेत्र में सबसे अधिक बुजुर्ग मतदाता राजेंद्रनगर में 565, लोकमान्य नगर में 460, गुमाश्ता नगर में 502, तिलकनगर में 546, स्वामी विवेकानंद नगर में 446, अन्नपूर्णा में 409, बिजासन में 334, मल्हारगंज में 342, गीता भवन में 348, साउथ तुकोगंज में 442, देवी अहिल्या नगर में 430 हैं। विभाग द्वारा प्राप्त आंकड़ों के अनुसार 70 से 80 वर्ष के मतदाताओं की कुल संख्या 73396 है, वहीं 80 वर्ष से अधिक उम्र के मतदाताओं की संख्या 23037 है, वहीं तृतीय लिंग वर्ग के 86 मतदाता हैं, जिनकी कोई सुध नहीं ली जा रही है। शहर में कुल 96433 मतदाता 70 वर्ष से अधिक की उम्र के हैं।
अकेले रहने को मजबूर, बच्चे विदेश में या अन्य शहरों में
निर्वाचन विभाग द्वारा किए गए वार्डवार आयु विश्लेषण में जो आंकड़े सामने आए हंै, उसके अनुसार शहरी क्षेत्र के ही 85 वार्डों में ये मतदाता निवास करते हैं। 400 से अधिक संख्या वाले 16 वार्ड हैं, जहां 80 की उम्र पार कर चुके मतदाता निवास करते हैं, वहीं सभी वार्डों में 200 से ऊपर मतदाता बुजुर्गों की श्रेणी में आते हैं। राजेंद्रनगर, गुमाश्तानगर, लोकमान्य नगर जैसे क्षेत्रों में सबसे अधिक ऐसे बुजुर्ग निवास करते हैं, जिनके परिवार में या तो कोई सहारा मौजूद नहीं है या जिनके बच्चे विदेशों में या अन्य शहरों में निवास करते हैं। ऐसे में यदि भारी बारिश हुई तो इन मतदाताओं को मतदान से वंचित रहना पड़ सकता है।
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