नई दिल्ली। कोरोना वायरस (corona virus) के नए ओमिक्रॉन वैरिएंट के मामले पूरी दुनिया में तेजी से बढ़ रहे हैं. राजधानी दिल्ली, मुंबई जैसे बड़े शहरों में रोज नए मामले सामने आ रहे हैं. डेल्टा के मुकाबले ओमिक्रॉन को बहुत हल्का वैरिएंट बताया जा रहा है, लेकिन इसके फैलने की रफ्तार वैज्ञानिकों को हैरान कर रही है. इसी बीच WHO की तकनीकी प्रमुख मारिया वैन केर्खोव ने शुक्रवार को ओमिक्रॉन(Omicron Variants) के तेजी से फैलने की तीन वजहें गिनाई.
केर्खोव ने कहा कि लोगों को वायरस के प्रति जोखिम कम करने और इसके ट्रांसमिशन को नियंत्रित करने के बारे में सोचने की जरूरत है. बीते सप्ताह कोरोना के रिकॉर्ड मामले दर्ज किए गए हैं जो पिछले सप्ताह की तुलना में 71 फीसद ज्यादा हैं. वैन केर्खोव ने कहा कि नया ओमिक्रॉन वैरिएंट कई कारणों से लोगों के बीच इतनी तेजी से फैल रहा है.
‘पहला, नए वैरिएंट के म्यूटेशन वायरस (mutation virus) को मानव कोशिकाओं के साथ आसानी से जुड़ने में मदद करते हैं. दूसरा, नए वैरिएंट में इम्यून सिस्टम (immune system) से बच निकलने की क्षमता है. नतीजन, लोगों में रीइंफेक्शन का खतरा बढ़ गया है. यानी पहले संक्रमण का शिकार हो चुके लोग या वैक्सीनेट हुए लोगों के लिए भी इससे बचना मुश्किल है.’
तीसरा कारण बताते हुए केर्खोव ने कहा, ‘ओमिक्रॉन में हम अपर रेस्पिरेटरी ट्रैक्ट में वायरस को रेप्लीकेट होते देख रहे हैं, जो कि डेल्टा या पिछले किसी भी वैरिएंट से बिल्कुल अलग चीज है. कोरोना के पिछले सभी स्ट्रेन फेफड़ों में लोवर रेस्पिरेटरी ट्रैक्ट में रेप्लीकेट होते थे, जिससे इसके आगे बढ़ने की रफ्तार थोड़ी कम होती थी.’
इन सभी कारणों के अलावा, वायरस लोगों के ज्यादा मेल-जोल की वजह से भी तेजी से फैल रहा है. शुरुआत से ही एक्सपर्ट लोगों से अच्छी वेंटीलेशन (ventilation) वाली जगहों पर रहने की अपील कर रहे हैं. बंद जगहों पर लोगों के एकसाथ रहने से संक्रमण (Infection) का जोखिम बढ़ता है. WHO ने बताया कि पिछले सप्ताह पूरी दुनिया में कोरोना के रिकॉर्ड 95 लाख मामले दर्ज किए गए हैं.
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