भोपाल। प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. मोहन यादव (State Higher Education Minister Dr. Mohan Yadav) ने कहा कि नई शिक्षा नीति (new education policy) के लागू होने से प्रदेश के सकल नामांकन अनुपात (जीईआर) में वृद्धि निश्चित है। उन्होंने कहा कि वर्ष 2019-20 में मध्य प्रदेश का सफल नामांकन अनुपात 24.2 प्रतिशत था, जो राष्ट्रीय 27.1 प्रतिशत के आसपास है।
उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. यादव मंगलवार को प्रदेश के 39 निजी विश्वविद्यालय में राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन को लेकर मप्र निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयोग में कार्यशाला के समापन सत्र को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में निजी विश्वविद्यालय की स्थापना के पीछे परिकल्पना है कि वे अपने संसाधनों की श्रेष्ठता सिद्ध करें अन्य संस्थान उनका अनुसरण करें।
उन्होंने कहा कि नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति नए भारत की नई उम्मीदों तथा नई आवश्यकताओं की पूर्ति का माध्यम है। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए बड़े गर्व की बात रही है कि कोरोना काल में जहाँ विश्व में शैक्षणिक गतिविधियाँ भी रूक गई थी, वहीं मध्यप्रदेश द्वारा ऑनलाइन कक्षाओं का संचालन, ओपन बुक परीक्षा से समय पर परिणाम घोषित कर अनूठा कार्य किया गया है, जो देश में एक मॉडल रहा है, जिसकी अन्य प्रदेशों द्वारा प्रशंसा की गई।
उच्च शिक्षा मंत्री ने कहा कि नई शिक्षा नीति शासकीय विश्वविद्यालयों में क्रियान्वित हो गई है। इस नीति की सफलता में निजी विश्वविद्यालयों का सहयोग अत्यंत महत्वपूर्ण एवं आवश्यक है। मंत्री डॉ. यादव ने कहा कि इस तरह की कार्यशाला जिलों एवं संभाग स्तर पर भी आयोजित करें। राष्ट्रीय शिक्षा नीति का प्रचार अधिक से अधिक करें।
मध्यप्रदेश निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयेाग के अध्यक्ष प्रो. भरत शरण सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति के महत्वपूर्ण बिन्दुओं पर हमें ध्यान देना है। उन्होंने नीति का क्रियान्वयन कैसे हो, कौन से क्षेत्र को ज्यादा केन्द्रित करना है, कैसे शिक्षा गुणवत्ता को बढ़ाना है, मास्टर ट्रेनर्स की ट्रेनिंग आदि को गति देने पर जोर देने की बात कही। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति लागू करने और वर्ष 2030 तक शत-प्रतिशत सकल नामांकन अनुपात को हासिल करने के लिए हर स्तर पर अप्रोच करना होगा।
उल्लेखनीय है कि प्रदेश के 39 निजी विश्वविद्यालयों में राष्ट्रीय शिक्षा नीति के क्रियान्वयन को लेकर दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया था। इस अवसर पर डॉ. प्रदीप श्रीवास्तव सदस्य (अकादमिक) डॉ. विश्वास चौहान सदस्य (प्रशासकीय), म.प्र. निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयेाग डॉ. ए.एस. यादव तथा विभिन्न निजी विश्वविद्यालयों के प्रतिनिधि उपस्थित थे। (एजेंसी, हि.स.)
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