भोपाल। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि स्वर्गीय कैलाश नारायण सारंग की स्मृति को हमेशा जीवित रखा जाएगा। भोपाल में उनकी स्मृति में भव्य प्रतिमा स्थापित की जाएगी। मुख्यमंत्री चौहान रविवार शाम को भोपाल के रवीन्द्र भवन परिसर में स्व. सारंग की प्रथम पुण्य-तिथि पर भजन संध्या कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे।
उन्होंने स्व. सारंग द्वारा लिखित पुस्तक “कैलाश प्रवाह: राष्ट्रनीति से राजनीति” का विमोचन किया। साथ ही हिंदू दर्शन एवं शोध संस्थान और ध्यान केंद्र एवं कैलाश प्रसून सारंग डायग्नोस्टिक सेंटर का वर्चुअल भूमि-पूजन किया। इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्रीद्वय नरेंद्र सिंह तोमर, फग्गन सिंह कुलस्ते, भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय, सांसद विष्णु दत्त शर्मा, अखिल भारतीय कार्यकारिणी समिति के राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ सदस्य सुरेश सोनी, आचार्य महामंडलेश्वर पदनाथ शरण, सदगुरू रितेश्वर महाराज, मंत्रीगण विश्वास सारंग, जगदीश देवड़ा, भूपेंद्र सिंह, प्रभुराम चौधरी, यशोधरा राजे, उषा ठाकुर, तुलसी सिलावट, गोविंद सिंह राजपूत, हरदीप सिंह डंग, विधायक रामेश्वर शर्मा, पूर्व महापौर आलोक शर्मा सहित अन्य जन-प्रतिनिधि और बड़ी संख्या में गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री चौहान ने स्व. सारंग को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि उनके द्वारा किए गए अच्छे कार्यों को हम सब मिलकर आगे बढ़ाएंगे। यदि वह हमारे बीच आज होते तो उन्हें बहुत खुशी होती कि हबीबगंज स्टेशन का नाम रानी कमलापति स्टेशन कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि स्व. सारंग चिंतक, लेखक, विचारक, कवि, साहित्यकार एवं शायर थे। स्व. सारंग सम्पूर्ण व्यक्तित्व थे। उन्होंने नर सेवा को नारायण सेवा मानते हुए अनेक रचनात्मक कार्य किए। बरेली का वृद्धाश्रम उनकी देन है। वह जो परंपरा छोड़कर गए हैं, उसका कभी अंत नहीं होगा। मुख्यमंत्री ने बरेली के वृद्धाश्रम से आए बुजुर्गों का सम्मान भी किया।
कार्यक्रम में केन्द्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि स्व. सारंग का अध्यात्म से गहरा जुड़ाव था। उनका सान्निध्य हमें प्रेरणा और समर्पण की भावना से कार्य करने के लिए मजबूत करेगा।
मुख्य अतिथि सुरेश सोनी ने कहा कि स्व. सारंग बहुआयामी प्रतिभा के धनी थे। वे हमारे लिए हमेशा प्रेरणा के संबल बने रहेंगे। उन्होंने सामाजिक जीवन की विभिन्न समस्याओं के समाधान के लिए कार्य किया। उनके आदर्श हमें दिशा देने में सहायक होंगे। हम सब उनकी स्मृति का चिंतन कर समाज के लिए कार्य करें।
स्व. सारंग के पुत्र एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने कहा कि पूज्य पिताजी, पिता ही नहीं मेरे मार्गदर्शक एवं दोस्त भी थे। उनका सिखाया गया ज्ञान मेरे जीवन को सार्थक करेगा। उन्होंने सम्पूर्ण विश्व के कल्याण की अवधारणा को ध्यान में रखकर कार्य किया। आज उनके संकल्प को आगे बढ़ाने का दिन है।
भजन संध्या में सुप्रसिद्ध गायिका मैथिली ठाकुर ने सुमधुर भजनों की प्रस्तुति दी। (एजेंसी, हि.स.)
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