भोपाल। मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में भारी बारिश (Heavy Rain) और बाढ़ (Flood) की वजह से ग्वालियर-चंबल संभाग के शिवपुरी, श्योपुर, दतिया, ग्वालियर और भिंड के अलावा रीवा जिले में लगभग 1171 गांव प्रभावित हुए हैं, जिनमें से कुल 200 गांव बाढ़ के पानी से अब भी घिरे हुए हैं. इस बारे में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (CM Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि राज्य आपदा मोचन बल (SDRF) और राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की टीमों ने बाढ़ में फंसे करीब 1600 लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया है. यही नहीं, सीएम शिवराज हालात पर नजर बनाए हुए हैं. जबकि बाढ़ प्रभावित जिलों के अधिकारियों से लेकर एनडीआरएफ, सेना से संपर्क बनाकर पल पल की जानकारी लेते रहे. वहीं, मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बाढ़ प्रभावित इलाकों में चल रहे राहत और बचाव कार्य की जानकारी दी.
इसके अलावा सीएम शिवराज सिंह चौहान ने मंगलवार को कहा कि सेना बुला ली गई है. वायुसेना के पांच हेलीकॉप्टरों ने ग्वालियर (Gwalior) से सुबह उड़ान भरी थी, लेकिन खराब मौसम होने के कारण बचाव के लिए उतर नहीं सके.
सीएम ने की ये अपील
सीएम शिवराज सिंह चौहान ने मध्य प्रदेश के प्रभावित गांवों के लोगों से सतर्क रहने की अपील करते हुए कहा कि हम आपकी चिंता कर रहे हैं. राहत शिविर और भोजन (Food and Shelter) की व्यवस्था करने के निर्देश दे दिये गये हैं. अफवाहों पर ध्यान न दें. सभी बांध सुरक्षित हैं, आत्म-विश्वास रखें. सरकार हर संभव प्रयास कर रही है.
शिवपुरी और श्योपुर में हालात खराब
सीएम के मुताबिक, मौसम में सुधार होते ही हेलीकॉप्टर फिर राहत और बचाव के काम के लिए रवाना होंगे. चौहान ने कहा कि विशेष रूप से शिवपुरी और श्योपुर में 22 गांव घिरे हैं. कल 11 लोगों को वायुसेना ने निकाला था. एसडीआरएफ की 70 टीमें और एनडीआरएफ की तीन टीमें बचाव अभियान में लगी हैं. केंद्र शासन से और टीमें भेजने का अनुरोध किया गया है. मुख्यमंत्री ने कहा कि अतिवृष्टि और बाढ़ के कारण विकट स्थिति बनी है. शिवपुरी और श्योपुर में दो दिन में 800 मिलीमीटर वर्षा हुई, फलस्वरूप बाढ़ की स्थिति बनी है. उन्होंने कहा कि शिवपुरी के बीछी गांव में तीन लोग पेड़ पर अटके थे, जिन्हें सुरक्षित निकाला गया हैं. दूर-दूर तक गांव खाली हैं. एक पुजारी मंदिर की छत पर घिरे हैं. उनकी चिंता कर रहे हैं. भोजन और राहत के प्रबंध कर रहे हैं. ढांढस बनाने के प्रयास किये जा रहे हैं.
सीएम और मंत्रियों की प्रभावित इलाकों पर नजर
सीएम शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मैं और हमारे मंत्री लगातार स्थिति पर नजर रखे हुए हैं. वायुसेना के अधिकारी से चर्चा हुई है. प्रभावित जिलों शिवपुरी, दतिया, ग्वालियर, अशोकनगर के कलेक्टर संपर्क में हैं. इसके अलावा चौहान ने कहा कि मड़ीखेड़ा बांध में पानी अधिक होने के कारण पानी छोड़ा गया था. बांध से पहले 12,500 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा था, लेकिन अब 10,500 क्यूसेक कर दिया गया है. बांध से पानी छोड़ने से प्रभावित होने वाले गांवों के लोगों को सतर्क कर दिया गया है. चौहान ने कहा कि प्रदेश के गृह मंत्री डॉ. नरोत्तम मिश्रा, जल संसाधन मंत्री तुलसी सिलावट और राजस्व मंत्री गोविंद सिंह राजपूत स्थिति पर नजर रखे हुए हैं. जबकि मंत्री यशोधरा राजे सिंधिया और शिवपुरी के प्रभारी मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया शिवपुरी कंट्रोल रूम से राहत और बचाव कार्यों का समन्वय कर रहे हैं.
सीएम ने पीएम को दी जानकारी
मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्रदेश में बनी अतिवृष्टि और बाढ़ की स्थिति से अवगत कराया. उन्होंने फोन पर प्रधानमंत्री को जानकारी दी कि प्रदेश के ग्वालियर-चंबल क्षेत्र में हो रही निरंतर वर्षा के कारण विकट स्थिति बनी हुई है. चौहान ने पीएम मोदी को प्रदेश में चल रहे बचाव अभियान के संबंध में जानकारी दी तथा बाढ़ ग्रस्त क्षेत्र में सेना की मदद के लिए भी चर्चा की. उनके मुताबिक प्रधानमंत्री ने केन्द्र की ओर से प्रदेश को हर संभव सहयोग करने का आश्वासन दिया है. चौहान ने कहा कि जल्द ही प्रदेश के बाढ़ ग्रस्त इलाकों का हवाई सर्वेक्षण करवाया जाएगा.
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