इंदौर। आज से कोरोना कफ्र्यू में और सख्ती शुरू कर दी और राशन की थोक-खेरची दुकानें भी अब हफ्ते में दो दिन खुली रहेंगी। 200 से अधिक माइक्रो कंटेनमेंट एरिया भी शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में अभी तक घोषित किए जा चुके हैं। वहीं कोरोना सहायता केन्द्र भी शहरी क्षेत्र में बनाए जाएंगे, जिनके जरिए मरीजों को कोरोना से संबंधित आवश्यक जानकारी, मेडिकल किट, दवाइयां और आवश्यक चिकित्सा परामर्श मिल सकेगा, ताकि अस्पतालों में अनावश्यक दबाव ना पड़े। ग्रामीण क्षेत्रों में पंचायत, सामुदायिक भवनों आदि में 10 से लेकर 20 आइसोलेशन बेड तैयार करने के निर्देश भी कलेक्टर ने दिए हैं। वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में कोविड केयर सेंटर की संख्या भी बढ़ाई जाएगी और होम आइसोलेशन के मरीजों पर भी सख्ती होगी। अभी यह शिकायतें भी मिल रही है कि कोरोना पॉजिटिव मरीज बाजार में घूम रहे हैं। हालांकि इसके पीछे एक मजबूरी यह है कि अधिकांश परिवार के सभी सदस्य पॉजिटिव हो गए और उसमें जो कम संक्रमित यानी ए सिम्टोमैटिक मरीज है उसी की जिम्मेदारी बाजार में दवाई या आवश्यक सामान लाने की हो गई, क्योंकि अन्य कोई व्यक्ति मदद करने को नहीं आता। इतना ही नहीं, सिटी स्कैन करवाने से लेकर अन्य जांच के लिए भी इन मरीजों को खुद ही अपनी गाड़ी चलाकर पहुंचना पड़ता है। इधर प्रभारी मंत्री तुलसीराम सिलावट ने अधिकारियों के साथ कोरोना की समीक्षा की, जिसमें संभागायुक्त, आईजी, कलेक्टर, डीआईजी सहित निगमायुक्त मौजूद रही। यह भी तय किया गया कि कोरोना संक्रमित घरों में हरे रंग के पोस्टर लगाए जाएंगे और होम आइसोलेशन में रह रहे मरीज को घर के बाहर ना निकलने की सलाह भी दी जा रही है और सख्ती भी होगी। शहर में अभी तक 184 माइक्रो कंटेनमेंट झोन बना दिए हैं और 20 से अधिक ग्रामीण क्षेत्रों में बन गए हैं। प्रभारी मंत्री तुलसीराम सिलावट ने जिले में संचालित 47 फीवर क्लीनिकों पर चल रहे उपचार और मरीजों को दी जाने वाली दवाई-टेस्टिंग रिपोर्ट की समीक्षा भी की। श्री सिलावट ने इन्दौर जिले में संचालित 47 फीवर क्लीनिकों पर चल रहे उपचार एवं मरीजों को दिये जाने वाले दवाईयों एवं टेस्टिंग रिपोर्ट की समीक्षा की। इस दौरान मंत्री सिलावट ने बैठक में उपस्थित में मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत आयुक्त नगर निगम, अनुविभागीय अधिकारी, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देश दिये कि वह शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में सर्दी, खांसी एवं बुखार के मरीजों को ट्रेस कर उन्हें दवाईयां एवं आवश्यक उपचार तत्काल उपलब्ध किया जाये इस हेतु शहरी क्षेत्र में नगर निगम की टीम एवं ग्रामीण क्षेत्रों में आशा कार्यकर्ता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता/स्वास्थ्यकर्मी, स्व सहायता समूह की सहायता ली जाये। मंत्री सिलावट ने बैठक में अधिकारियों को निर्देश दिये कि सी.एच.सी एवं पी.एच.सी. का स्टेटस अनुसार वहां स्वास्थ्य कर्मी/ चिकित्सक वर्तमान में जो कार्य कर रहे हैं उनकी ड्यूटी ग्रामीण क्षेत्रों में स्थापित कोविड केयर सेंटर में मरीजों के उपचार हेतु लगाई जाने के निर्देश दिये और ग्रामीण क्षेत्रों में सर्वे कर क्षेत्रीय लोगों को सामान्य लक्षण पाये पर तुरंत समीप के फीवर क्लीनिकों पर आरआरटी और आरटीपीसीआर टेस्टिंग कराई जाए यह टेस्टिंग रिपोर्ट मरीजों को 24 घंटे में प्राप्त हो इसके निर्देश दिये साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में सर्वे के आधार पर मेडिकल किट एवं काढ़ा को गांव-गांव में बंटवाने के लिए निर्देश दिये। ग्रामीण क्षेत्रों में मेरा गांव कोरोना मुक्त अभियान चलाया जाये। इसमें पंचायत सचिव, आशा कार्यकर्ता, आंगनवाडी कार्यकर्ता, स्वास्थ्य कर्मी, स्व सहायता समूह की सहायता लिये जाने के निर्देश दिये गए उनकी सतत मानीटरिंग के लिए नोडल अधिकारी भी नियुक्त किया गया है।
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