उज्जैन। इस बार शिवरात्रि पर 10 लाख से अधिक श्रद्धालु पहुँचने की उम्मीद है। इसी के चलते मंदिर प्रशासन मंदिर के अधिकांश निर्माण कार्य पूरा करवाने में लगा हुआ है। टनल का काम भी लगभग पूरा होने को है। शिवरात्रि पर इसी से श्रद्धालुओं को दर्शन कराए जाएँगे।
महाकाल मंदिर में 1 जनवरी को करीब आठ लाख श्रद्धालु दर्शन के लिए जुटे थे। इसी को देखते हुए अब माना जा रहा है कि शिवरात्रि को महाकाल मंदिर दर्शन करने के लिए करीब 10 लाख से अधिक श्रद्धालु आएँगे। किसी को लेकर मंदिर प्रशासन विशेष तैयारी कर रहा है। आगामी 8 मार्च को महाशिवरात्रि का त्यौहार है। महाकाल मंदिर प्रशासन संदीप सोनी ने बताया 8 मार्च तक हमारा लक्ष्य है कि मंदिर के आसपास के सभी निर्माण पूरे कर लिए जाए, उसमें खास तौर से टनल का काम है। इस टनल का काम अब अंतिम दौर का काम चल रहा है।
इसमें एलईडी और लाइट तथा मार्बल लगाने का काम तेजी से चल रहा है। शिवरात्रि के पहले टनल की पूरी फिनिशिंग कर ली जाएगी और इसी से श्रद्धालुओं को प्रवेश कराया जाएगा। वर्तमान में 2 से 3 लाइन महाकाल मंदिर दर्शन करने के लिए चल पाती है। इस टनल में 7 लाइन एक साथ दर्शन के लिए चल पाएगी और इससे कम समय में अधिक से अधिक श्रद्धालु दर्शन कर पाएँगे। मानसरोवर गेट से प्रवेश कर श्रद्धालु टनल में प्रवेश करेंगे। टनल करीब 500 फीट की है और 500 फीट चलने के बाद श्रद्धालुओं को महाकाल बाबा के दर्शन हो जाएँगे। उल्लेखनीय के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के स्पष्ट निर्देश है कि दर्शन की ऐसी व्यवस्था की जाए कि श्रद्धालुओं को कम चलना पड़े और कम समय में उन्हें दर्शन हो। इसी थीम पर महाकाल मंदिर प्रबंध समिति काम कर रही है और शिवरात्रि पर इसे अमल में भी लाया जाएगा।
जब से महाकाल लोक बना है तब से लगातार बढ़ रही है भीड़
नवंबर 2022 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जब से महाकाल लोक का उद्घाटन किया है तब से उज्जैन में श्रद्धालुओं की संख्या में कभी कमी नहीं आई। एक समय में उज्जैन में 17 से 18 हजार श्रद्धालु उज्जैन महाकाल मंदिर दर्शन करने आते हैं थे लेकिन महाकाल लोक के उद्घाटन के बाद प्रतिदिन 1 लाख श्रद्धालु उज्जैन महाकाल दर्शन करने आ रहे हैं और शुक्रवार, शनिवार, रविवार को यह संख्या 3 से साढ़े 3 लाख तक भी पहुँच जाती है, वहीं 1 जनवरी को 8 लाख श्रद्धालु दर्शन करने पहुँचे थे। इसी को देखते हुए उम्मीद जताई जा रही है कि इस बार 10 लाख से अधिक श्रद्धालु शिवरात्रि पर आएँगे, उसी हिसाब से मंदिर प्रशासन व्यवस्था में लगा हुआ है।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved