भोपाल। नर्मदापुरम जिले में पिछले 15 साल में हुए अलग-अलग रेशम घोटाले की जांच शुरू होगी। कुटीर एवं ग्रामोद्योग मंत्री गोपाल भार्गव ने घोटाले से संबंधित सभी फाइलें मंगा ली हैं। उम्मीद की जाती है कि जल्द ही जांच के आदेश होंगे। बता दें कि तीन अलग-अलग मामलों में 250 करोड़ रुपये से ज्यादा का भ्रष्टाचार हुआ है। इसके बाद भी कार्रवाई के नाम पर तृतीय श्रेणी के दो कर्मचारियों को निलंबित किया गया है। मामला संज्ञान में आने के बाद मंत्री ने इस गड़बड़ी को गंभीरता से लिया है। मंत्री ने शुरू से लेकर अब तक हुई विभागीय जांच और दूसरी जांच एजेंसियों में की गई शिकायतों की भी जानकारी मांगी है। इसके अलावा लोकायुक्त पुलिस संगठन ने रेशम विभाग के अधिकारियों से जल्द दस्तावेज उपलब्ध कराने को कहा है।
घोटालेबाज अफसर रिटायर्ड
बता दें कि गड़बड़ी के समय पदस्थ रहे अधिकारी और कुछ कर्मचारी जिनका नाम घोटाले में सामने आ रहा था उनमें नौ सेवानिवृत्त हो चुके हैं। 2015 में लोकायुक्त में शिकायत पहुंची थी, लेकिन जांच अधूरी होने की वजह से आज तक प्रकरण पंजीबद्ध नहीं किया गया है।
ईओडब्ल्यू, लोकायुक्त में भी दबा मामला
आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ में भी अकबर अहमद नामक किसान ने शिकायत की थी, पर यह जांच भी पूरी नहीं हो पाई। किसानों की ज्यादा संख्या और ककून का अधिक उत्पादन दिखाकर अनुदान की राशि अपनी जेब में डालने, परिवार के लोगों को ककून उत्पादन की योजना में फायदा पहुंचाने, ककून बनाने के लिए घरों के निर्माण में गड़बड़ी की शिकायतें कर्मचारी-अधिकारियों के खिलाफ हुई हैं।
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