उज्जैन। बिनोद बिमल मिल के मजदूरों का भुगतान ब्याज समेत 100 करोड़ तक पहुँच गया है। यह भुगतान करने के आदेश देश की सर्वोच्च अदालत 6 माह पहले दे चुकी थी। मजदूर संघ भी अब देश की सबसे बड़ी अदालत के आदेश की अवमानना को लेकर याचिका दायर करने जा रहा है। पदाधिकारियों का कहना है कि जनप्रतिनिधियों और अधिकारियों ने इस बात की मजदूरों को भ्रामक जानकारी दी है कि मिल की जमीन बेचकर उनका भुगतान किया जाएगा। इस मामले को लेकर रविवार को बिनोद मिल संयुक्त संघर्ष समिति की बैठक हरिशंकर शर्मा की अध्यक्षता में रखी गई जिसमें मुख्य वक्ता ओमप्रकाश भदौरिया, संतोष सुनहरे, भूपेन्द्रसिंह कुशवाह एडवोकेट, फूलचंद मामा, मिश्रीलाल, मेकराम, अर्जुन लाल, राजूबाई बुंदेला, गीताबाई आदि ने विचार-विमर्श किया। मजदूर संघ अध्यक्ष ओमप्रकाश भदौरिया ने बताया कि अगले सप्ताह सर्वोच्च न्यायालय में अवमानना याचिका प्रस्तुत कर दी जाएगी।
भदौरिया ने बताया कि नेताओं और अधिकारियों द्वारा यह भ्रामक प्रचार किया जा रहा है कि जमीन बेचकर मजदूरों का भुगतान किया जाएगा, जबकि वास्तविकता में निर्णय में कहीं भी जमीन बेचकर भुगतान करने की बात नहीं है। शासन पर 88 करोड़ की डिक्री है। कुल रकम में से 10 प्रतिशत जमा हो चुका है। अतिशीघ्र पत्रकारवार्ता बुलाकर शासन और अधिकारियों की गलत बयानबाजी का पर्दाफाश करने की बात भी उन्होंने कही। संघ के कोषाध्यक्ष संतोष सुनहरे ने श्रमिकों एवं उनके परिवारों से अपील की है कि 30 जुलाई 2021 के सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के बाद मृतक श्रमिकों के मृत्यु प्रमाण एवं क्लेम कागजात शीघ्र मजदूर संघ कार्यालय पर जमा करें ताकि न्यायालय में जानकारी दी जा सके।
11वें दिन भी जारी रहेगी गोवर्धन सागर की सफाई
उज्जैन। अंकपात मार्ग स्थित गोवर्धन सागर पर रामादल अखाड़ा परिषद के आह्वान पर पिछले 10 दिनों से श्रमदान अभियान चल रह है जिसमें कई लोग और संस्थाएँ सहयोग दे रहे हैं। आज भी सुबह से यहां श्रमदान शुरू हो गया है। रामादल अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत डॉ. रामेश्वरदास ने बताया कि काम को गति देने के लिए रविवार से एक और पोकलेन मशीन बढ़ा दी गई। हनुमत आश्रम गदा पुलिया के महंत भगवान दास, आवाहन अखाड़े के महंत सेवानंद गिरी, हनुमान वाटिका अंकपात के महंत राघवेंद्र दास, राम मंत्र साधना पीठ के महंत विशालदास सहित अन्य संत-महंतों की मौजूदगी में गोवर्धन सागर की सफाई के अब तक के काम की समीक्षा की गई।
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