नई दिल्ली। यूक्रेन युद्ध व चीन में कोविड-19 महामारी की वजह से विदेशों में अपनी इंटनर्शिप पूरी न कर सके एमबीबीएस विद्यार्थियों को राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग ने नियमों में कुछ बदलाव कर राहत दी है। इससे वे भारत में अपनी इंटर्नशिप पूरी कर पाएंगे।
आयोग ने साफ कहा है कि यह राहत फॉरेन मेडिकल ग्रेजुएट्स एग्जाम (FMGE) पास कर चुके विद्यार्थियों के लिए है। राज्यों की आयुर्विज्ञान परिषदों को यह देखना होगा कि विदेश में पढ़ा वही विद्यार्थी इस इंटर्नशिप के लिए आवेदन करे जिसने एफएमजीई पास की हो। यह परीक्षा नेशनल बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन करवाता है।
नहीं चुकानी होगी फीस
इन बातों पर देना होगा ध्यान
7.5 फीसदी कोटा भी निर्धारित
विदेशी एमबीबीएस ग्रेजुएट्स को इंटर्नशिप में कोटा भी मिलेगा। यह संबंधित मेडिकल कॉलेज की अधिकतम सीटों का 7.5 प्रतिशत हो सकता है। यानी किसी कॉलेज में 200 सीट हैं तो वहां विदेश से एमबीबीएस पढ़े 14 विद्यार्थी इंटर्नशिप कर सकेंगे। आयोग खुद ऐसे कॉलेजों की सूची जारी करेगा, जिन्हें उसने इन विद्यार्थियों की इंटर्नशिप के लिए अनुमति दी है।
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