इन्दौर (Indore)। दोनों ही प्रमुख दल कांग्रेस और भाजपा जहां बागियों से परेशान है, वहीं नाम वापसी के लिए दबाव भी बना रहे हैं। उम्मीदवारों को भी निर्दलियों से लेकर अन्य को बैठाने के लिए मान-मनोव्वल करना पड़ रही है। कल नाम वापसी का अंतिम दिन है, उसके बाद स्थिति स्पष्ट होगी कि किस विधानसभा में कितने उम्मीदवार मैदान बचते हैं। फिलहाल तो सबसे बड़ी विधानसभा 5 में सबसे अधिक 18 उम्मीदवार मैदान में हैं। नामांकन फार्म की जांच के बाद इंदौर की सभी 9 विधानसभा में कुल 6 फॉर्म निरस्त हुए हैं। वहीं कुल 102 उम्मीदवार इन विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ रहे हैं।
इनमें देपालपुर में 14, तो विधानसभा 1 में 11, विधानसभा 2 में 8, विधानसभा 3 में 13, विधानसभा 4 में भी 8 और सर्वाधिक विधानसभा 5 में 18, वहीं महू में 12, तो राऊ में 11 और सांवेर में 7 उम्मीदवार मैदान में हैं। अंतिम तिथि तक 108 उम्मीदवारों ने नामांकन फॉर्म जमा किए थे। वहीं कुछ उम्मीदवारों ने अपनी पत्नी व अन्य के नाम पर एतियात के रूप में नामांकन फॉर्म जमा कर दिए हैं। वहीं कई विधानसभा में मिलते-जुलते नाम वाले उम्मीदवारों को भी खड़ा करवाया गया है, ताकि मतदाता भ्रमित हो सकें। ऐसे नाम वालों को भी प्रमुख उम्मीदवारों द्वारा बैठाने के प्रयास किए जा रहे हैं। जैसे विधानसभा 1 में ही कांग्रेस के विधायक संजय शुक्ला मैदान में हैं, जिनका मुकाबला भाजपा के बलशाली उम्मीदवार कैलाश विजयवर्गीय से है। यहां पर संजय शुक्ला के नाम से एक निर्दलीय उम्मीदवार ने भी नामांकन भर रखा है , जो कि पेशे से ड्राइवर हैं। इसी तरह उज्जैन के तराना में भी कांग्रेस प्रत्याशी महेश परमार के सामने निर्दलीय प्रत्याशी महेश परमार खड़े हुए हैं और ये भी ड्राइवर हैं।
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