नई दिल्ली। हिंदू धर्म में हर माह का अपना अलग महत्व (Importance) है. हर माह किसी न किसी देवता को समर्पित होता है और उस माह में उन देवता की पूजा-उपासना (worship) से विशेष फलों की प्राप्ति होती है. शास्त्रों के अनुसार मार्गशीर्ष (Margashirsh)का महीना भगवान श्री कृष्ण (lord shree krishna) को समर्पित है. इसे अगहन के महीने के नाम से भी जाना जाता है. इस माह में श्री कृष्ण की भक्ति को उत्तम माना गया है. बता दें कि गीता में श्री कृष्ण ने स्वयं को मार्गशीर्ष का महीना बताया है.
ज्योतिष शास्त्र (Astrology) के अनुसार इस माह का महत्व इसलिए और बढ़ जाता है क्योंकि इस माह में भगवान शिव और भगवान राम और मां सीता का विवाह हुआ था. मार्गशीर्ष माह को लेकर ये भी प्रचलित है कि इस माह से ही नए साल की शुरुआत हुआ करती थी. 9 नवंबर, बुधवार से इस माह की शुरुआत हो गई है. इस माह में कुछ जरूरी काम करने से भगवान श्री कृष्ण की कृपा पाई जा सकती है. आइए जानें इस माह में किन 3 कामों का विशेष महत्व है.
पवित्र नदी में स्नान करने का है महत्व
स्कंदपुराण (Skanda Purana) के अनुसार मार्गशीर्ष माह को श्री कृष्ण ने अपना प्रिय महीना बताया है. इस दौरान सुबह जल्दी उठकर और पूजन करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है. इस माह में नदी में स्नान के महत्व पर जोर दिया गया है. कहते हैं कि अगर पवित्र नदी में स्नान संभव न हो, तो व्यक्ति नियमित रूप से स्नान के पानी में गंगाजल डालकर भी स्नान कर सकता है. इससे श्री कृष्ण प्रसन्न होते हैं.
एक समय ही करें भोजन
महाभारत के अध्याय में बताया गया है कि मार्गशीर्ष माह में व्यक्ति को एक समय ही भोजन करना चाहिए. इस दिनों अपने सामर्थ्य के अनुसार ब्राह्मण को भोजन कराना चाहिए. इन सब बातों का अनुसरण करने से तमाम रोगों और पापों से मुक्ति दिलाता है. कहते हैं कि इस माह में व्रत रखने से व्यक्ति निरोगी और बलवान बनता हैं. साथ ही, व्यक्ति का अगला जन्म भी सुखमय बनता है.
चांदी और अन्न का करें दान
अगहन माह में चांदी और अन्न दान को भी बहुत शुभ माना गया है. इससे व्यक्ति को यौन संबंधी समस्याओं से छुटकारा मिलता है. व्यक्ति बलवान होता है. वहीं, व्यक्ति इस माह में अन्न का दान करने से करने उसकी सभी इच्छाएं पूरी हो जाती हैं और दुखों का नाश होता है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. हम इसकी पुष्टि नहीं करते है.)
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