नई दिल्ली: विश्व हिंदू परिषद ने रविवार (08 सितंबर) को अहम बैठक की. इस बैठक में काशी के ज्ञानवापी, मथुरा के श्रीकृष्ण जन्मभूमि विवाद, वक्फ संशोधन विधेयक, जबरन या लालच देकर धर्मपरिवर्तन, मंदिरों की सरकारी नियंत्रण से मुक्ति जैसे मुद्दों पर चर्चा की गई. विश्व हिंदू परिषद (Vishva Hindu Parishad) के विधि प्रकोष्ठ (Legal Cell) की इस बैठक में सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट के 30 रिटायर्ड जज भी शामिल हुए. रिपोर्ट के मुताबिक, इस बैठक में केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल (Arjun Ram Meghwal) ने भी शिरकत की.
विश्व हिंदू परिषद के अध्यक्ष ने इस बैठक के संबंध में बताया, ‘रविवार को बुलाई गई अहम बैठक का उद्देश्य समाज में मौजूदा समय के मुद्दों पर सेवानिवृत्त जजों और विश्व हिंदू परिषद के बीच विचारों का आदान-प्रदान किया जाना था. ये इसलिए किया गया ताकि दोनों ही एक-दूसरे को बेहतर ढंग से समझ सकें और इन मुद्दों के संबंध में एक-दूसरे की समझ विकसित कर सकें. इस दौरान राष्ट्रवाद पर भी चर्चा की गई.’
वीएचपी प्रवक्ता ने कहा, ‘बैठक का उद्देश्य विचारों के आदान-प्रदान का एक मंच उपलब्ध कराना था. इस बैठक में राष्ट्रवाद, हिंदुत्व समेत कई अन्य मुद्दों पर विस्तार से चर्चा की गई. हिंदुओं को प्रभावित करने वाले कानून, मंदिरों की मुक्ति, गो हत्या, वक्फ बोर्ड और धर्मपरिवर्तन पर भी चर्चा की गई.’
केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने बैठक की तस्वीरें सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर शेयर कीं. अर्जुन राम मेघवाल ने लिखा, ‘आज विश्व हिंदू परिषद के विधि प्रकोष्ठ द्वारा आयोजित Judge’s Meet समारोह में सहभागिता करके विकसित भारत के निर्माण संबंधित न्यायिक सुधारो से जुड़े विषयों पर विस्तृत संवाद किया. इस अवसर पर विश्व हिंदू परिषद के अध्यक्ष श्री आलोक कुमार जी की गरिमामयी उपस्थित में सेवानिवृत्त न्यायाधीश, अन्य न्यायविद्, वरिष्ठ वकील व अन्य गणमान्य प्रबुद्धजन साथ उपस्थित रहे.’
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