मुंबई (Mumbai) । महाराष्ट्र (Maharashtra) में मराठा आरक्षण कार्यकर्ता मनोज जरांगे-पाटिल (Manoj Jarange Patil) ने एक बार फिर हुंकार भरी है। इस बार मनोज ने महाराष्ट्र सरकार (Maharashtra Government) को ललकारते हुए कहा है कि 13 जुलाई तक हमारी आरक्षण से जुड़ी मांग पूरी कीजिए। अगर ऐसा नहीं हुआ तो आगामी विधानसभा चुनाव में सत्ताधारी गठबंधन को महाराष्ट्र की सभी 288 सीटों पर हार का सामना करना पड़ेगा। जरांगे-पाटिल इस मांग पर अड़े हैं कि मराठों को उनके करीबी रिश्तेदारों (ऋषि सोयरे) के साथ आरक्षण मिलना चाहिए। जरांगे पाटिल ने यह बातें प्रभाणी में कहीं, जहां वह अपनी शांति रैली को संबोधित कर रहे थे। यह शांति रैली 13 जुलाई तक मराठवाड़ा में विभिन्न स्थानों पर आयोजित की जाएगी।
रैली को संबोधित करते हुए जरांगे ने कहा कि सरकार सुनिश्चित करे कि मराठा समुदाय को 13 जुलाई तक आरक्षण मिल जाए। ऐसा वह ऐसा करने में विफल रहती है तो हम चुनाव के संबंध में बड़ा फैसला लेंगे। इसके तहत महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में या तो हम खुद के उम्मीदवार खड़े करेंगे। या फिर सभी 288 विधानसभा क्षेत्रों में उनके उम्मीदवारों को हराने का इंतजाम करेंगे। उन्होंने मराठा समुदाय से सतर्क रहने के लिए कहा। जरांगे ने कहा कि मामले को हल्के में मत लीजिए। इस अनावश्यक बहस में मत पड़िए कि वह हमारा नेता है, यह आपका नेता है। अपने बच्चों पर ध्यान दीजिए। आरक्षण के अभाव में बहुत से माता-पिता ने अपने बच्चों को जान गंवाते हुए देखा है। पाटिल ने कहा कि हम आपके बच्चों का ख्याल रखेंगे। हम आपके बच्चों को आरक्षण दिलाने के लिए संघर्ष करेंगे।
इस दौरान जरांगे पाटिल ने मराठा समुदाय से अपने वोट की ताकत दिखाने की गुहार लगाई। उन्होंने कहा कि आने वाले विधानसभा चुनाव में दुनिया को अपनी ताकत दिखा दीजिए। हमें एक रहना होगा। मुझे पूरा भरोसा है कि सरकार 13 जुलाई तक आरक्षण के संबंध में कोई फैसला जरूर लेगी। अगर वह ऐसा नहीं करती है तो इसके दुष्परिणाम विधानसभा चुनाव में भुगतने होंगे। अपने भाषण के दौरान जरांगे ने प्रदेश के मंत्री और भाजपा नेता चंद्रकांत पाटिल पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि यह मंत्री हमारी बातों को समझ नहीं रहे हैं। वह मराठा समुदाय के सदस्यों के बीच कंफ्यूजन फैला रहे हैं। जरांगे ने छगन भुजबल के खिलाफ भी बातें कहीं। उन्होंने कहा कि सरकार ने छगन भुजबल से सलाह लेकर मेरे खिलाफ ओबीसी नेताओं को खड़ा किया है। डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने कहा था कि वह मराठा समुदाय के खिलाफ हुए मुकदमे वापस ले लेंगे। लेकिन ऐसा हुआ नहीं, लगता है वह भुजबल की सुन रहे हैं।
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