नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी नेता और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पूर्व कैबिनेट सहयोगी मनीष सिसोदिया को बड़ा झटका लगा है. दिल्ली शराब घोटाला मामले में कोर्ट ने उन्हें फिलहाल राहत नहीं दी है. उनकी न्यायिक हिरासत को 22 फरवरी 2024 तक के लिए बढ़ा दिया गया है. इसक मतलब यह हुआ कि मनीष सिसोदिया फिलहाल जेल में ही बंद रहेंगे. बता दें कि अनियमितता उजागर होने के बाद दिल्ली आबकारी नीति को निरस्त कर दिया गया. इस मामले में केजरीवाल मंत्रिमंडल के कई नेता जांच के दायरे में हैं.
दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को दिल्ली की निरस्त आबकारी नीति मामले में सोमवार सुबह को राउज एवेन्यू कोर्ट में पेश किया गया. AAP नेता मनीष सिसोदिया को कोर्ट ने 22 फरवरी तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. बता दें कि मनीष सिसोदिया ने नियमित जमानत के साथ ही पैरोल को लेकर भी अदालत में अर्जी दाखिल कर रखी है. हालांकि, फिलहाल सिसोदिया को कोर्ट से राहत नहीं मिली है. उन्हें 22 फरवरी तक जेल में ही रहना होगा.
दिल्ली की निरस्त शराब नीति से जुड़े भ्रष्टाचार के मामले में कोर्ट ने जांच एजेंसी को बड़ा निर्देश दिया है. राउज़ ऐवन्यू कोर्ट ने CBI से जांच की विस्तृत स्टेटस रिपोर्ट सील कवर में दाखिल करने को कहा है. राउज़ ऐवन्यू कोर्ट में मामले की अगली सुनवाई 22 फरवरी को होगी. CBI ने कहा कि मामले में अभी जांच जारी है. जांच अभी अहम स्टेज पर है. मामले में कुछ संदिग्ध लोगों के खिलाफ जांच जारी है. CBI ने कहा कि जिनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल हो चुकी है, उनके खिलाफ जांच पूरी हो चुकी है. दूसरी तरफ, आरोपियों के वकील ने कोर्ट से कहा कि स्टेटस रिपोर्ट अधूरी है. इसमें कुछ भी स्पष्ट नहीं है. इसके बाद कोर्ट ने सीबीआई को निर्देश दिए.
प्रवर्तन निदेशालय (ED) द्वारा बार-बार भेजे जा रहे समन और उसे अनदेखा करना दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की मुश्किलें बढ़ा सकता है. इस मामले में ED ने बड़ा कदम उठाया है. ईडी ने शनिवार को दिल्ली के राउज एवेन्यू कोर्ट का दरवाजा खटखटाया. ईडी ने दिल्ली शराब नीति घोटाले से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में अरविंद केजरीवाल को पांच बार समन जारी किए हैं, लेकिन वो एक बार भी ईडी के सामने पेश नहीं हुए. वह लगातार किसी न किसी बहाने समन पर तामील करने से बचते रहे हैं.
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved