कोलकाता। पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) ने ‘बाहरी’ वाले बयान पर सफाई दी है। उन्होंने कहा है कि उन्होंने ‘बंगाल में तैनात किए गए लाखों गुंडों और बंदूकधारियों को बाहरी कहा था।’ उन्होंने कहा है कि उन्होंने भारतीय जनता पार्टी के शीर्ष नेताओं के लिए इसका इस्तेमाल नहीं किया था। खास बात है कि राज्य में चुनाव प्रक्रिया शुरू होने से पहले ही बनर्जी कई बार मंच से ‘बाहरी’ लोगों की बात कहते हुए नजर आ चुकी हैं। बीते दिनों सीएम बनर्जी के इस बयान पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने पलटवार किया था।
उन्होंने कहा, ‘हमने प्रधानमंत्री या केंद्रीय गृहमंत्री को बाहरी नहीं कहा। हम ऐसा क्यों करेंगे। हम कहते हैं, ऐसे लोग जो बंगाल में टीएमसी को हराने के लिए तैनात किए गए हैं, बंदूकधारी गुंडे जो कोरोना लेकर भी आए हैं, वे बाहरी हैं। हम उन्हें ऐसा कहना जारी रखेंगे।’ सीएम बनर्जी ने कहा, ‘बंदूक और गुंडे आपकी संपत्ति नहीं हैं…’ कुछ दिनों पहले सीएम ने अपील की थी कि बगैर नेगेटिव RT-PCR सर्टिफिकेट वालों को बंगाल में घुसने न दिया जाए।
नंदीग्राम से चुनाव लड़ने का कारण बताया
बीजेपी को बाहरी लोगों की पार्टी बताने के अलावा बनर्जी ने कहा था कि बंगाल को राजनीति के गुजरात ब्रांड की जरूरत नहीं है। इसे पीएम मोदी और शाह पर निशाने की तरह देखा गया था। इंटरव्यू के दौरान बनर्जी ने नंदीग्राम सीट पर जीत का दावा किया है। उन्होंने कहा, ‘अगर मुझे भरोसा नहीं होता, तो मैं एक ही सीट पर क्यों लड़ती?’ उन्होंने कहा कि भवानीपुर की जगह नंदीग्राम से चुनाव लड़ने का मकसद भूमि आंदोलन का सम्मान करना था।
उन्होंने कहा, ‘वे कितनी ही कोशिश कर लें’ बीजेपी नंदीग्राम नहीं जीतेगी। सीट से अपने प्रतिद्वंद्वी को ‘गद्दार’ बताते हुए उन्होंने केंद्र सरकार पर आरोप लगाए हैं। इस दौरान उन्होंने राज्य में दो तिहाई बहुमत का दावा किया है। उन्होंने कोरोना वायरस महामारी के बीच 8 चरणों में चुनाव कराने को लेकर चुनाव आयोग की भी आलोचना की थी।
वायरल ऑडियो और अभिषेक बनर्जी पर क्या बोलीं सीएम
कूच बिहार में सीतलकुची घटना को लेकर एक कथित ऑडियो वायरल हुआ था। इसमें दावा किया जा रहा था कि टीएमसी नेता को सीएम अगले दिन तक रखे जाने और रैली में लाने की बात कहती हुई सुनाई दे रही हैं। आलोचकों ने कहा कि सीएम मौत पर राजनीति कर रही हैं। इस पर बनर्जी ने कहा कि उन्होंने कुछ भी ‘गैरकानूनी चर्चा’ नहीं की है। उन्होंने कहा कि वे मृतकों का सम्मान करना चाहती थीं और उनके परिवारों से मिलना चाहती थीं।
उन्होंने कहा कि उनके पास अगले दिन वहां पहुंचने के अलावा कोई भी विकल्प नहीं था, क्योंकि घटना के दिन वहां मतदान जारी था। उन्होंने कहा, ‘यह जुर्म नहीं है… मुझमें इंसानियत है… बीजेपी मुद्दे पर राजनीति कर रही है।’ वो इस बात पर आश्चर्च जताती हैं कि बातचीत लीक कैसे हो गई। उन्होंने फोन टैपिंग की आशंका को लेकर कहा ‘हम दोषी को सजा दिलाना चाहते हैं।’
अभिषेक बनर्जी को कमान देने पर बनर्जी ने कहा, ‘आप क्यों बीजेपी की बात दोहरा रहे हैं… आप मुझसे पार्टी के लाखों कार्यकर्ताओ के बारे में सवाल कर सकते हैं… उसके पास पार्टी राजनीति में शामिल होने का लोकतांत्रिक अधिकार है।’ साथ ही उन्होंने कहा कि वो राजनीति में ‘तीसरी पीढ़ी’ को बढ़ावा देना चाहती हैं।
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