इंदौर। बदलते दौर में ऑनलाइन पेमेंट करने का चलन काफी हद तक बढ़ गया है। स्वयं के मोबाइल, लैपटॉप, टैबलेट, कम्प्यूटर से बिजली बिल भरकर प्रति बिल प्रतिमाह छूट पाने वालों की संख्या में सतत बढ़ोतरी हो रही है। एक तो इस प्रक्रिया से कहीं से भी, कभी भी बिल भरा जाता है, हाथोहाथ ई-रसीद मिल जाती है, वहीं बिल नहीं भरने का तनाव नहीं होता। साथ ही सरचार्ज की भी नौबत नहीं आती है। पिछले तीन माह से औसतन पंद्रह लाख बिजली उपभोक्ता हर माह कैशलेस तरीके से बिजली बिल भुगतान कर रहे हैं, जिसमें तकरीबन डेढ़ करोड़ रुपए प्रतिमाह की उपभोक्ताओं को छूट का लाभ भी मिल रहा है। मार्च, अप्रैल, मई में उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज हुई है। इनमें से शहर में प्रतिमाह पांच से सवा पांच लाख उपभोक्ता कैशलेस तरीके से बिजली बिल भुगतान कर रहे हैं।
बिजली उपभोक्ताओं को गुणवत्तापूर्ण आपूर्ति और शासन- नियामक आयोग के नियमानुसार छूट दी जा रहा है। पिछले तीन माह के माह के दौरान करीब 45 लाख बिजली बिल कैशलेस तरीके से जमा हुए हैं। कैशलेस बिल भरने पर निम्नदाब घरेलू उपभोक्ताओं को बिल राशि की आधा प्रतिशत, गैर-घरेलू उपभोक्ताओं को 5 से 20 रुपए तक की प्रति बिल पर छूट दी जाती है। इसी तरह उच्चदाब उपभोक्ताओं को 100 से 1000 रुपए प्रतिमाह प्रति बिल पर छूट मिलती है। प्रबंध निदेशक अमित तोमर ने बताया कि कैशलेस बिल जमा करने पर दी गई छूट अगले बिल में स्पष्ट उल्लेखित होती है। यह तरीका अपनाने से चौबीसों घंटे, सातों दिन कहीं से भी बिल भरा जा सकता है। छुट्टी या कार्यालयीन समय का कोई बंधन नहीं होता है। समय पर बिल भरने से एक ओर कैशलेस छूट मिलती है, वहीं दूसरी ओर देर शाम या रात को तारीख बदलने से पहले बिल भरने पर सरचार्ज लगने से बचा जा सकता है।
इंदौरी आगे, बचा रहे हर महीने 50 लाख रुपए
विद्युत वितरण कंपनी इस तरह कैशलेस छूट के माध्यम से करीब डेढ़ करोड़ प्रतिमाह की रियायत दे रही है। सबसे ज्यादा रियायत इंदौर शहर के करीब पांच लाख से ज्यादा उपभोक्ताओं को 50 लाख रूपए की मिल रही है। इसके बाद उज्जैन, इंदौर ग्रामीण, देवास, रतलाम क्षेत्र के उपभोक्ता कैशलेस छूट अर्जित कर रहे हैं। छूट पाने वाले उपभोक्ता सभी पंद्रह जिलों में हैं, लेकिन इंदौर शहर अव्वल बना हुआ है।
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