भोपाल (Bhopal)। लोकायुक्त संगठन (Lokayukta Organization) ने शिवराज सरकार के नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह (Minister Bhupendra Singh) के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति (Case registered in disproportionate assets ) के मामले में बड़ी राहत मिल गई है।
विधानसभा चुनाव के पहले लोकायुक्त पुलिस की जांच में शिकायत प्रमाणित नहीं हो सकी है। इसलिए लोकायुक्त ने आय से अधिक संपत्ति का केस बंद कर दिया है। कांग्रेस ने एक नेता के जरिए शिकायत लोकायुक्त में कराई थी, जिसकी जांच सामने आने के बाद राजनीतिक घमासान शुरू हो गया था और कांग्रेस ने इसे मुद्दा बनाया था। अब नगरीय विकास मंत्री भूपेंद्र सिंह ने अपने आफिशियल ट्विटर अकाउंट ‘X’ से लोकायुक्त की जांच संबंधी जानकारी साझा की है।
उन्होंने आगे कहा कि, मेरे पूरे राजनैतिक जीवन में कई महत्वपूर्ण पदों पर रहने के बावजूद किसी भी प्रकार का आरोप नहीं लगा है। कांग्रेस के द्वारा जो अप्रमाणिक शिकायतें की गई थीं, वह जांच में आधारहीन पाई गईं। परिणामस्वरूप कांग्रेस का षड़यंत्र विफल हुआ और सत्य की जीत हुई. उन्होंने कहा, कांग्रेस मुद्दों की नहीं षड़यंत्र की राजनीति करती है।
दरअसल, मंत्री भूपेंद्र सिंह के खिलाफ लोकायुक्त ने आय से अधिक संपत्ति मामले में जांच शुरू की थी. कांग्रेस ने उन पर पद और प्रभाव का इस्तेमाल कर बेहिसाब संपत्ति अर्जित करने के आरोप लगाए थे और इसे लेकर 11 मई 2023 को लोकायुक्त को शिकायत की थी।
कांग्रेस नेताओं की शिकायत पर लोकायुक्त ने पंजी क्रमांक 572/सी/2023-24, जांच क्रमांक 0035/ई/2023-24 दिनांक 30.05.2023 में जांच रिपोर्ट मांगी थी। मध्य प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्ष जेपी धनोपिया और कांग्रेस आरटीआई प्रकोष्ठ के अध्यक्ष पुनीत टंडन ने प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस भी की थी।
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