इन्दौर। साहब चार बच्चे पैदा करने के बाद भी बहू ने अपने प्रेमी के साथ ब्याह रचा लिया और सात महीने की गर्भवती है। इन चार बच्चों का भरण पोषण कैसे होगा। कमलाबाई पति परमानंद ने चार मासूमों के साथ कलेक्टर से बहू को सजा दिलाने की गुहार लगाई, वहीं सूरदास खजराना में बैठकर भजन सुनाने के लिए कलेक्टर से मदद मांगने पहुंचा।
दो साल से लेकर पांच साल तक के चार मासूमों का चेहरा देखे बिना निर्दयी मां ने प्रेमी के साथ ब्याह रचा लिया और बच्चों को सडक़ पर रोता-बिलखता छोडक़र भाग गई। दो वक्त की रोटी खिलाने के साथ-साथ इनके भविष्य को अंधकार में छोडक़र चली गई। जैसे-तैसे हम बूढ़ा-बूढ़ी इनका भरण-पोषण कर रहे हैं। शुक्ला नगर नवलखा निवासी कमलाबाई ने पति परमानंद के साथ जनसुनवाई में गुहार लगाई। जनसुनवाई में पहुंचे 200 से अधिक मामलों की सुनवाई शाम चार बजे तक अधिकारियों ने की, जिसमें दो महिलाओं को जहां 10-10 हजार की आर्थिक सहायता मुहैया कराई गई, वहीं बिरसामुंडा योजना के तहत युवक को सवारी ऑटो दिलवाई गई। प्रवासी भारतीय सम्मेलन और ग्लोबल इन्वेस्टर मीट के चलते पिछले हफ्ते जनसुनवाई नहीं होने के कारण आवेदकों की संख्या अधिक नजर आई।
खजराना में भजन गाने पर क्यों है रोक
खजराना में कई सालों से तानपुरे के साथ भक्तों को भजन सुना रहे सूरदास ने कलेक्टर के समक्ष गुहार लगाते हुए खजराना प्रबंधन की शिकायत दर्ज कराई। सूरदास ने बताया कि वह भिखारी नहीं है। आने-जाने वालों को भजन सुनाकर भक्तिमय माहौल बनाता है, लेकिन खजराना प्रबंधन ने उसे परिसर से बाहर धकेल दिया है। कई बार गुहार लगाने के बावजूद भी उसे वहां बैठने की परमिशन नहीं दी जा रही है। कलेक्टर ने खजराना प्रबंधन से बात करने का आश्वासन दिया।
आईडीए पर धोखाधड़ी का आरोप
2018 से आईडीए द्वारा जारी किए गए प्लाटों के आवंटन का इंतजार कर रहे योजना क्रमांक 149 के रहवासियों ने कलेक्टर से आईडीए द्वारा की जा रही धोखाधड़ी की शिकायत दर्ज करवाई। आवेदक ने बताया कि चार वर्षों से अर्नेस्ट मनी जमा करने के बावजूद भी प्लाटों का आवंटन नहीं किया जा रहा।
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