उज्जैन। अब घर बैठे ही एक मेडिकल किट के जरिए जांच कर लोग पता लगा लगा रहे हैं कि वे कोरोना पॉजिटिव हैं या नहीं। कोरोना होम टेस्ट किट को भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद से मंजूरी मिल गई है। मेडिकल स्टोर से लेकर ऑनलाइन मार्केट में 250 से 350 रुपए की रैपिड होम एंटीजन किट मौजूद है। डॉक्टरों के अनुसार भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद ने लगभग सात कोरोना टेस्ट होम किट को मंजूरी दी है, जिनके माध्यम से लोग घर में रहकर ही कोविड संक्रमण की जांच कर पता लगा सकते हैं कि वह कोरोना पॉजिटिव हैं या नहीं। सभी किट के जरिए स्वाब, यानी कॉटन स्टिक (रूई लगी स्टिक) के जरिए लिया जाता है, जिसके परिणाम कुछ मिनटों में पता चल जाते हैं। कोरोना की तीसरी लहर के दौरान आजकल इन किट की डिमांड लगातार बढ़ रही है। इंदौर के मेडिकल स्टोर्स से लेकर ऑनलाइन प्लेटफॉर्म अमेजॉन, फ्लिपकार्ट, स्नैपडील पर भी मौजूद है।
इंदौर सहित कई शहरों के लोग इस होम किट का इस्तेमाल कर रहे हैं, मगर हैरानी की बात यह है कि यह किट कितने लोगों ने खरीदी या इस किट के जरिए जिन्हें पॉजिटिव रिपोर्ट मिली उन्होंने इसकी जानकारी स्वास्थ्य विभाग को नहीं दी। ऐसा कोई रिकॉर्ड या जानकारी स्वास्थ्य विभाग के पास नहीं है। घर पर टेस्ट करके लोग बाले-बाले ही डॉक्टरों से परामर्श कर इलाज ले रहे हैं। इस कारण ऐसे कोरोना पॉजिटिव की वास्तविक गिनती नहीं हो पा रही है। विशेषज्ञ डॉक्टरों के अनुसार कम समय में कोविड वायरस का पता लगाने के लिए रैपिड एट-होम टेस्ट एक बेहतरीन मशीन है। इससे न सिर्फ परिणाम तेज मिल रहे हैं, बल्कि परिणाम सटिक भी हैं। जबकि आरटीपीसीआर टेस्ट में वक्त लगता है। वहीं रैपिड होम टेस्ट में वायरस की सतह पर पाए जाने वाले प्रोटीन या अणुओं को तलाशा जाता है, इसीलिए परिणाम तेज होते हैं, जिन्हें आसानी से सत्यापित किया जा सकता है। इस मामले में स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि घर बैठे कोरोना की निजी जांच करने के संबंध में कोई गाइड लाइन तय नहीं है। इस बारे में वरिष्ठ अधिकारियों से बात करेंगे।
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