उज्जैन। शहर में भगवान कृष्ण का जन्मदिन कल और परसों मनेगा। गोपाल मंदिर में जहाँ कल रात 12 बजे मटकी फूटेगी वहीं सांदीपनि आश्रम में भी कल ही जन्मोत्सव मनेगा, जबकि शहर में माखन मिश्री के आयोजन परसों होंगे। कार्यक्रम की तैयारियाँ लोगों ने की है। कल तथा परसों शहर में लगातार दो दिन श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व की धूम रहेगी। शैव मत के अनुसार कल गोपाल मंदिर और सांदीपनि आश्रम में भगवान श्रीकृष्ण का मध्यरात्रि में जन्मोत्सव मनेगा और अगले दिन परसों शैव मंदिरों में बाल गोपाल का जन्मोत्सव रखा जाएगा। ज्योतिषाचार्य पं. अमर डब्बावाला ने बताया कि जन्माष्टमी का पर्व शैव मत से कल 18 अगस्त को मध्यरात्रि में मनेगा। जबकि वैष्णव मत के अनुसार यह पर्व 19 अगस्त को मनाया जाएगा। उन्होंने बताया कि धर्मशास्त्रों के अनुसार भाद्र पद मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि की मध्यरात्रि 12 बजे भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था।
परंतु शैव तथा वैष्णव मत के अनुसार यह पर्व परंपरानुसार मनाया जाता है। शैव मत के अनुसार कल 18 अगस्त को भरणी उपरांत कृतिका नक्षत्र तथा वृद्धि योग के मध्य जन्माष्टमी मनाई जाएगी। जबकि वैष्णव मत के मुताबिक वैष्णव मंदिरों में 19 अगस्त को यह पर्व मनाया जाएगा। गोपाल मंदिर में शैव मत के मुताबिक कल जन्माष्टमी मनेगी और मध्यरात्रि में भगवान श्रीकृष्ण का जन्म होगा। अगले दिन गोपाल मंदिर में नंद उत्सव मनाया जाएगा। इसी तरह यह पर्व सांदीपनि आश्रम में भी इसी दिन मनाया जाएगा। दूसरी ओर इस्कॉन मंदिर तथा बड़ा गणेश मंदिर में परसों 19 अगस्त को वैष्णव मत के मुताबिक जन्माष्टमी का पर्व मनाया जाएगा। अन्य मंदिरों में भी धूमधाम से जन्माष्टमी का पर्व मनेगा। ऐसे में शहर में कल से दो दिन तक लगातार श्रीकृष्ण जन्मोत्सव का उल्लास रहेगा। शहर में जन्माष्टमी वैसे तो कल और परसों मनेगी लेकिन स्कूलों में आज से ही जन्माष्टमी पर्व का उल्लास आरंभ हो गया है। नन्हें-मुन्ने विद्यार्थियों को स्कूलों में श्रीकृष्ण की वेशभूषा धारण कर पालक ला रहे हैं। स्कूलों में भी जन्माष्टमी से संबंधित फेन्सी ड्रेस प्रतियोगिताएँ कराई जा रही है। शहर के कई स्कूलों में आज सुबह नन्हें-मुन्ने बालक बालिका भगवान श्रीकृष्ण और राधाजी का स्वांग रचकर स्कूलों में पहुँचे।
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