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जानें कौन हैं यह, भाजपा का मिशन 2023 पूरा करने के लिए उतरेंगे ‘त्रिदेव’

April 30, 2022

भोपाल: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की राजधानी भोपाल (Bhopal) में आज बीजेपी ने अपने ”त्रिदेव” की बैठक आयोजित की. इस बैठक के जरिए बीजेपी अपने सबसे पुराने फॉर्मूले पर काम करने की तैयारी में दिख रही है. दरअसल, बीजेपी ”बूथ जीतो चुनाव जीतो” पर मजबूती से काम कर रही है. यही वजह है कि आज और कल 2 दिन भाजपा अपने बूथ स्तर के मुख्य पदाधिकारी ”त्रिदेव” के साथ चुनाव के लिए तैयारियों में जुट गई है.

खास बात यह है कि बीजेपी ने यही फॉर्मूला उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (Uttar Pradesh Assembly Elections) में भी लागू किया था, जिससे पार्टी को बड़ी सफलता मिली थी. ऐसे में आप सोच रहे होंगे कि यह ”त्रिदेव” है क्या, तो इसकी पूरी जानकारी हम आपको बताने जा रहे हैं. बीजेपी ने मध्य प्रदेश में मिशन-2023 के लिए एक नया प्लान बनाया है. खास बात यह है कि पिछले दिनों मध्य प्रदेश के दौरे पर पहुंचे केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने खुद संगठन को इस बात के निर्देश दिे हैं कि पार्टी अपने हर बूथ के लिए ”त्रिदेव” को एक्टिव करे.

क्योंकि इन त्रिदेव के सहारे बीजेपी (Support BJP) न केवल अपना 10 प्रतिशत वोट प्रतिशत बढ़ाने का गेम खेल रही है, बल्कि सरकारकी योजनाओं का लाभ पा रहे लोगों के वोट अपने खाते में शिफ्ट करने का भी प्लान है. पार्टी के आगामी कार्यक्रम को जमीन तक ले जाना भी इन त्रिदेव के जिम्मे होगा. यही वजह है कि आज से राजधानी भोपाल में त्रिदेव के प्रशिक्षण कार्यक्रम की शुरुआत भी हो गई है. बीजेपी का मजबूत संगठन ही चुनाव में उसकी जीत की सबसे बड़ी वजह होती है, इसलिए पार्टी संगठन को सबसे ज्यादा मजबूत करने पर ध्यान देती है. बूथ स्तर पर बीजेपी के तीन पदाधिकारी होते हैं, जिन्हें ”त्रिदेव” कहा जाता है. बूथ स्तर के मुख्य पदाधिकारी त्रिदेव यानी कि अध्यक्ष, महामंत्री और बीएलए शामिल होंते हैं.


खास बात यह है कि 2023 से पहले सभी बूथ मजबूत करने के लिए पार्टी ने त्रिदेवों को फिर से बूथ मजबूत करने के निर्देश दिए हैं, जिसका प्रशिक्षण (Training) उन्हें दिया जा रहा है. बता दें कि मध्य प्रदेश बूथों की संख्या 64634 है. बीजेपी ने करीब 92 प्रतिशत तक त्रिदेव बनाने का टारगेट पूरा कर लिया है. ऐसे में अब त्रिदेव को प्रशिक्षण दिया जा रहा है कि ताकि यह त्रिदेव मंडल स्तर पर बीजेपी को 2023 के लिए मजबूत करेंगे. बीजेपी के ”त्रिदेव” का काम पार्टी को जमीन पर मजबूत करना होता है. यह न केवल सरकार की योजनाओं के हितग्राहियों को वोटर में तब्दील करने का काम करेंगे बल्कि पार्टी की ओर से तय किए गए कार्यक्रमों को जमीन स्तर तक ले जाने का जिम्मा भी इन्ही को दिया जाता है.

इसके अलावा एक और खास का करते हैं. दरअसल, बीजेपी ने प्रदेश के हर बूथ को ए बी और सी कैटेगरी में बांटा है. ए कैटेगरी में बीजेपी के वह बूथ हैं जो बेहतर स्थिति में हैं. बी वाले बूथ वह हैं जो थोड़ा कम मुश्किल वाले हैं. जबकि सी कैटेगरी में कमजोर बूथ को रखे गए हैं. त्रिदेव का काम सी कैटेगरी के बूथ को ए कैटेगरी में लाना भी होता है. यानि जिस बूथ पर पार्टी जितनी कमजोर होती है, उसे उतना मजबूत किया जाए. राजनीतिक जानकारों का कहना है कि बीजेपी ”त्रिदेव” के सहारे अब यूपी की राह पर काम कर रही है, दरअसल, उत्तर प्रदेश में बीजेपी की सत्ता वापसी में ”त्रिदेव” ने अहम भूमिका निभाई थी.

पार्टी ने हर सीट पर बूथ को इतना मजबूत किया कि पार्टी की राह आसान हो गई. इसलिए अब बीजेपी मध्य प्रदेश में भी उत्तर प्रदेश की राह पकड़ती नजर आ रही है. खास बात यह है कि यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की तरह मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज की छवि भी बुलडोजर मामा वाली बनाई जा रही है, जबकि संगठन में ”त्रिदेव” फॉर्मूला लागू किया जा रहा है. इसके लिए बीजेपी सोशल मीडिया पर 25 हजार युवाओं की टीम मध्य प्रदेश में तैयार की है, जो न केवल विधानसभा चुनाव बल्कि आगामी लोकसभा चुनाव में भी पार्टी को मजबूत करेंगे.


पिछले दिनों बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा (State President VD Sharma) ने बताया कि बीजेपी ने बूथ विस्तारक योजना में प्रत्येक बूथ को डिजिटल बनाने का काम किया था, ताकि सब एक दूसरे से कनेक्ट रहे. बता दें कि बूथ अध्यक्ष, महामंत्री और BLA की संख्या एक लाख 75 हजार से ज्यादा है. ऐसे में जनता तक सीधी पहुंच बनाने के लिए यह ”त्रिदेव” सोशल मीडिया को माध्यम बनाएंगे. इसलिए त्रिदेव की ट्रेनिंग पूरे प्रदेश में मंडल स्तर पर होगी इसके साथ ही पार्टी सोशल मीडिया को भी हल्के में नहीं ले रही है, पार्टी ने 25 हज़ार सोशल वॉरियर्स की टीम तैयार कर ली है और उन्हें भी त्रिदेव के साथ प्रशिक्षण दिया जाएगा. त्रिदेव और सोशल वरियर्स को प्रशिक्षण देने वाले ट्रेनर्स, मास्टर ट्रेनर्स को पहले ही प्रदेश कार्यालय में प्रशिक्षण दिया जा चुका है. प्रशिक्षण कार्यक्रम में खुद प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा भी शामिल होंगे.

दरअसल, अमित शाह ने बैठक में कहा कि जब तक बूथ मजबूत नहीं होता तब तक संगठन मजबूत नहीं होता. ऐसे में चुनाव जीतने के लिए मजबूत बूथ और मजबूत संगठन की जरुरत होती है. इसलिए अभी से इस काम में जुट जाए क्योंकि मध्य प्रदेश में बीजेपी का संगठन देश के सबसे मजबूत संगठनों में से एक है. शाह ने कहा कि संगठन के मजबूत होने से ही सत्ता हमें मिलती रहेगी. इसलिए सत्ता पाने के लिए संगठन का मजबूत रहना जरुरी है. यानि शाह ने स्पष्ट संदेश दिया कि चाहे बड़ा हो या छोटा काम सबको करना पड़ेगा.

दरअसल, कल भले ही आदिवासियों के लिए आयोजित किए गए तेंदूपत्ता संग्रह के कार्यक्रम में अमित शाह शामिल होने को आदिवासी वर्ग को लुभाने के तौर पर देखा जा रहा है. लेकिन वास्तव में अमित शाह ने बीजेपी के तमाम दिग्गजों को मंच पर जगह देकर हर वर्ग को साधने की कोशिश भी की है. इसके अलावा उन्होंने संगठन की बैठक में भी यही निर्देश दिए हैं कि पार्टी नेता और कार्यकर्ता मिलकर मिशन-2023 के लिए मिलकर काम करे. यानि अमित शाह 2023 के लिए अब पूरी तरह से नेताओं को सक्रिए करना चाहते हैं, ताकि कही कोई कसर न छूट जाए. खास बात यह है कि हाल ही में बीजेपी को पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में जीत में यह फॉर्मूला बहुत काम आया था.

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