नई दिल्ली। ऑनलाइन बैंकिंग (online banking) के जरिए पैसों को ट्रांसफर करते समय आपने NEFT, RTGS और IMPS ट्रांजैक्शन(transaction) के बारे में जरूर सुना होगा। भारत(India) में पैसों को भेजने के लिए सबसे ज्यादा नेशनल इलेक्ट्रॉनिक फंड ट्रांसफर National Electronic Fund Transfer(NEFT), रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट Real Time Gross Settlement (RTGS) और इमीडियेट मोबाइल पेमेंट सर्विस Immediate Mobile Payment Service (IMPS) का इस्तेमाल किया जाता है। हालांकि बीते कुछ सालों में भारत में यूपीआई के जरिए होने वाली लेन देन में भी काफी वृद्धि देखने को मिली है। इसी कड़ी में आज हम आपको NEFT, RTGS और IMPS के जरिए होने वाली ट्रांजैक्शन के बीच के खास अंतर को बताने वाले हैं। जानकारी के लिए बता दें कि NEFT और RTGS को रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा लाया गया था। वहीं दूसरी तरफ IMPS को नेशनल पेमेंट कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया ने प्रारंभ किया था। इसी कड़ी में आइए जानते हैं इन तीनों ही भुगतान प्रणाली के बीच के खास अंतर के बारे में विस्तार से –
रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट (RTGS)
रियल टाइम ग्रॉस सेटलमेंट के अंतर्गत आपके द्वारा भेजा गया पैसा उसी समय व्यक्ति के अकाउंट में पहुंच जाता है। इस भुगतान प्रणाली में पैसों को भेजते वक्त आपको इंतजार नहीं करना पड़ता है। RTGS के जरिए आप न्यूनतम 2 लाख रुपये भेज सकते हैं। वहीं अधिकतम आप कितनी भी बड़ी राशि को भेज सकते हैं। इसकी सर्विस टाइमिंग कार्य दिवस के दिनों में सुबह 8 से शाम 6 बजे तक होती है।
इमीडियेट मोबाइल पेमेंट सर्विस (IMPS)
इस भुगतान प्रणाली के अंतर्गत आप 1 रुपये से 2 लाख रुपये तक की राशि को ट्रांसफर कर सकते हैं। IMPS के जरिए भेजे गए पैसे उसी समय बेनेफिशरी के खाते में पहुंच जाते हैं। इसकी सर्विस टाइमिंग 365 दिन 24*7 है।
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