• img-fluid

    पंजाब की जीत के पीछे था केजरीवाल का खुफिया ऑपरेशन, जानिए मिशन की पूरी कहानी

  • March 10, 2022

    नई दिल्ली। अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) ने दिल्ली की तर्ज पर पंजाब में प्रचंड जीत (massive victory in punjab) हासिल की है। हालांकि, इसमें एक बड़ा अंतर है। दिल्ली चुनाव (Delhi elections) की हर रणनीति सार्वजनिक प्लेटफॉर्म पर तैयार हुई थी। बहुत सी बातें मीडिया में आती रहती थी। पंजाब में 2015 की हार के बाद केजरीवाल ने खुफिया ऑपरेशन की तर्ज पर रणनीति तैयार की। उसे बिल्कुल वैसे ही अंजाम भी दिया। कैप्टन अमरिंदर सिंह, सुखबीर बादल और नवजोत सिंह सिद्धू आदि नेताओं को लगा कि टाइगर सो रहा है। इन्हें लग रहा था कि वे आसानी से चुनाव निकाल लेंगे।

    दूसरी तरफ केजरीवाल ने 1825 में से एक दिन भी इंतजार नहीं किया। उन्होंने 2017 से पहले जिस टीम को पंजाब में भेजा था, उसे वापस बुला लिया। उस टीम पर कथित तौर से कई तरह के गंभीर आरोप लगे। केजरीवाल ने दूसरी टीम तैयार कर उसे पंजाब भेजा। उसका नतीजा भी मिल गया। दरअसल, केजरीवाल के साथ बहुत से कार्यकर्ता वही हैं, जो अन्ना आंदोलन के समय से उन्हें जानते हैं। उन्होंने आंदोलन के दौरान केजरीवाल के साथ कंधे से कंधा मिलाकर काम किया है। बाद में जब केजरीवाल ने राजनीतिक पार्टी (political party) बनाई तो बहुत से कार्यकर्ता उनके साथ आ गए। साल 2015 में दिल्ली की भारी जीत के बाद केजरीवाल ने पंजाब पर काम करना शुरु किया था।


    आप के साथ लंबे समय तक जुड़े रहे एक वरिष्ठ नेता, जिन्होंने बाद में केजरीवाल से किनारा कर लिया था, उन्होंने कई अहम बातों का खुलासा किया है। नेता के मुताबिक, अरविंद केजरीवाल ने अपने विश्वस्त लोगों की टीम पंजाब भेजी थी। उनमें से कई नेता आज भी संगठन में विभिन्न पदों पर काम कर रहे हैं। कुछ नेता सांसद भी बने हैं। इस समय वे, पार्टी में बड़े पदों पर विराजमान हैं। 2017 में पंजाब के विधानसभा चुनाव होने थे। इसके लिए केजरीवाल ने बहुत पहले से ही तैयारी शुरु कर दी थी।

    उन्होंने वरिष्ठ नेताओं की टीम को पंजाब रवाना कर दिया। जब पंजाब चुनाव के नतीजे आए तो आप के राष्ट्रीय संयोजक को निराशा हाथ लगी, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानीं। तब आप को 22 सीटें मिली थी। वे दोबारा से तैयारियों में जुट गए। केजरीवाल के पूर्व सहयोगियों का कहना है कि उस वक्त आप संयोजक को पंजाब भेजी गई टीम की कई शिकायतें मिली थी। उस टीम ने दो साल तक वहां क्या किया था। हालांकि, केजरीवाल ने इस मुद्दे को ज्यादा हवा नहीं लगने दी।

    उन्होंने टीम को बदल दिया। नई टीम को पंजाब भेजा गया। वे हर छोटी मोटी रिपोर्ट पर गौर कर रहे थे। बाद में दिल्ली के विधायक राघव चड्ढा को पंजाब का सह प्रभारी बना दिया गया। वे केजरीवाल के विश्वस्त सहयोगी माने जाते हैं। खास बात है कि पंजाब में केजरीवाल’ अपने खुफिया ऑपरेशन पर आगे बढ़ रहे थे। दूसरी ओर प्रकाश सिंह बादल, सुखबीर सिंह बादल, बिक्रम सिंह मजीठिया, नवजोत सिंह सिद्धू और कैप्टन अमरिंदर सिंह जैसे वरिष्ठ नेताओं को आप संयोजक की उपस्थिति का अहसास नहीं हुआ। वे यही समझते रहे कि पंजाब चुनाव में केजरीवाल उस तरह से सक्रिय नहीं हैं, जैसे वे दिल्ली के विधानसभा चुनाव में नजर आए थे।


    आम आदमी पार्टी ने धीरे-धीरे पंजाब के अलग अलग क्षेत्रों के मुद्दों का पता लगाया। आप के आंतरिक सर्वे में पता लगा कि मौजूदा सभी राजनीतिक दलों के प्रति पंजाब के लोगों में गुस्सा व्याप्त है। सूत्रों का कहना है कि आप ने ऐसे कई सर्वे कराए थे। पिछले साल केजरीवाल ने पंजाब में कई दौरे किए। दिल्ली में चले किसान आंदोलन में केजरीवाल हलधर के साथ नजर आए। वे आंदोलन स्थल पर किसानों से मिले थे।

    चुनाव से कई माह पहले केजरीवाल ने पंजाब के लोगों के सामने कई तरह के मुद्दे रखे। इनमें सभी मुद्दे लोगों के साथ सीधे जुड़ने वाले थे। जैसे फ्री बिजली, शिक्षा, 16 हजार मोहल्ला क्लिनिक खोलने और 18 साल से ऊपर की महिलाओं के बैंक खाते में हर महीने 1000 रुपये डालना शामिल है। दिल्ली की तरह पंजाब में भी 300 यूनिट बिजली मुफ्त और 24 घंटे बिजली देंगे। सर्वे रिपोर्ट में यह बात सामने आई कि पंजाब के लोग बदलाव को लेकर गंभीरता से आगे बढ़ रहे हैं। केजरीवाल के इस मिशन को दूसरे दलों के नेता समझ नहीं पाए और चुनाव में आप ने लगभग सभी पार्टियों को साफ कर दिया।

    Share:

    यूक्रेन-रूस के विदेश मंत्रियों की वार्ता रही बेनतीजा, इधर रूस की बमबारी जारी

    Thu Mar 10 , 2022
    अंकारा। यूक्रेन-रूस युद्ध (Ukraine-Russia War) के 15वें दिन गुरुवार को दोनों देशों के विदेश मंत्रियों के बीच यहां हुई बातचीत बेनतीजा (ineffective) रही। रूस के विदेशमंत्री सर्गेई लावरोव (Sergei Lavrov) और यूक्रेन के विदेशमंत्री दिमित्रो कुलेबा (Dimitro Kuleba) की मुलाकात में तल्खी बरकरार रही। दोनों देशों के बीच जंग को आधा महीना बीत चुका है। […]
    सम्बंधित ख़बरें
  • खरी-खरी
    गुरुवार का राशिफल
    मनोरंजन
    अभी-अभी
    Archives
  • ©2024 Agnibaan , All Rights Reserved