जबलपुर। शहीद बिरसा मुंडा जयंती पर आदिवासी वोट बैंक को साधने के लिये भाजपा व कांग्रेस दोनों ने ऐढ़ी चोटी का जोर लगाया। पूर्व के चुनावी नतीजों को देखते हुए जहां भाजपा ने भोपाल में भव्यता के साथ पीएम की उपस्थिति में कार्यक्रम कर वाहवाही लूटी तो वहीं कांग्रेस भी विंध्य और महाकौशल को साधती नजर आई, लेकिन शहर में आयोजित हुए कार्यक्रम में शामिल होने आए कांग्रेस के दिग्गज नेता कम भीड़ देखकर आयोजकों से खफा-खफा नजर आये, जिसका खामियाजा आगामी समय में आयोजकों को भुगतना पड़ सकता है। बताया जा रहा है कि कार्यक्रम स्थल में कुर्सिया खाली पड़ी थी, वहीं प्रदेशभर में भाजपा के आयोजन के लिये बसों से लोगों को जाने की चर्चा सुर्खियों में बनी हुई है।
फेल साबित दिखीं पूर्व मंत्री
उल्लेखनीय है कि बिरसा मुंडा कार्यक्रम को लेकर भाजपा कांग्रेसी दोनों पहले से ही आमने-सामने थे, क्योंकि मामला आदिवासी वोटर का था इसलिए कांग्रेस भी अपने वोटरों को लुभाने के लिए कार्यक्रम को बड़े स्तर पर करने में लगी हुई थी। जिसको लेकर जबलपुर जवाहर लाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय में आयोजित सम्मेलन में पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ, पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह समेत कई दिग्गज पहुंचे। फिर भी कांग्रेस उनके कद के हिसाब से भीड़ जुटाने में नाकाम रही। हजारों की संख्या में भीड़ का दावा था लेकिन आधी से ज्यादा कुर्सियां सम्मेलन में भीड़ की हकीकत बयां करती रही। दबी जबान से लोग यह भी कहते नजर आ रहे हैं कि कहीं न कहीं पूर्व मंत्री कौशल्या गोंटिया कार्यक्रम को सफल बनाने में नाकाम साबित रहीं हैं। वहीं पूर्व मंत्री कौशल्या गोटियां कम भीड़ के लिए भाजपा को जिम्मेदार बताती नजर आई। कहा भोपाल में आदिवासी जनजातीय सम्मेलन के लिए जबलपुर और आसपास के इलाकों से आदिवासियों को बसों में भरकर ले जाया गया।
भाषण खत्म होते ही निकल गए कमलनाथ
सम्मेलन स्थल पर रखी कुर्सियां खाली पड़ी रही। आदिवासी समुदाय से आए लोग सामने की ओर कुर्सियों पर बैठे रहे लेकिन पीछे तरफ की काफी कुर्सियां खाली रही। कांग्रेस नेता इसकी वजह भोपाल में होने वाले आदिवासी सम्मेलन को बता रहे थे। जबकि चर्चा रहीं कि जिसकें कंधों पर कार्यक्रम की जिम्मेदारी सौंपी गई थी, वह कार्यक्रम को सफल बनाने में नाकाम रहीं, जिसकों लेकर कार्यक्रम स्थल में ही कांग्रेस नेताओं में कानाफूसी शुरु हो गई थी और कई चटकारे लेकर अपना कद बढ़ाने की जुगत में नजर आये। वहीं राजनैतिक सूत्रों की माने तो कार्यक्रम को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ भी नाराज हैं। यहीं कारण है कि पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ ने तय समय से कम वक्त दिया। उन्होंने अपना भाषण जल्द पूरा किया और छिंदवाड़ा के लिए हैलीकाप्टर से रवाना हो गए। कमल नाथ ने कहा छिंदवाड़ा में कार्यक्रम में उन्हें शामिल होना है इस वजह से वो जा रहे हैं। उनके कार्यक्रम से निकलते ही कई कांग्रेसी नेता भी रवाना हो गए।
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