नई दिल्ली: भारत (India) के खिलाफ पाकिस्तान (Pakistan) की खुफिया एजेंसी ISIS बड़ी साजिश करने की तैयारी कर रहा है, ISIS अपने ऑपरेशन ‘अल हिन्द’ के लिए भारत के मासूम नागरिकों का ब्रेन वॉश (brain wash) कर रहा है, अपने नापाक इरादों को पूरा करने के लिए उनका इस्तेमाल कर रहा है. भारत का मोस्ट वांटेड आतंकी (most wanted terrorist) फरखुल्लाह घोरी देश में ISIS की इस बड़ी साजिश को अंजाम देने के लिए काम कर रहा है.
आतंकी फरखुल्लाह घोरी ने ISIS के इशारे पर भारत में ‘अल हिंद’ का रिक्रूटमेंट सेल शुरू किया है. जहां वो आई टी सेल के जरिये भारत में आतंक की भर्ती करने की कोशिश कर रहा है. इस डिजिटल साजिश में नौजवानों के जहन में जेहाद की आग को भरा जाता है.
पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ISIS कभी घाटी, कभी दिल्ली, तो कभी उत्तर प्रदेश और बंगलुरू को टारगेट कर बड़ी आतंकी वारदात को अंजाम देने में जुटा है. दरअसल, पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISIS ने आतंक की इस साजिश का जिम्मा भारत के मोस्ट वांटेड आतंकी फरतुल्लाह घोरी, सरदार साहेब, फारू को दिया है. पाकिस्तान में ISIS की गोद में बैठकर फरतुल्लाह घोरी देश के खिलाफ साजिश तैयार करता है. हालांकि, एक बार फिर फरतुल्लाह घोरी ISIS का मॉड्यूल तैयार करने में जुटा है.
फरतुल्लाह घोरी का आईटी सेल ISIS के टेलीग्राम एवं व्हाट्सप्प ग्रुप के जरिये नौजवानों का ब्रेनवॉश कर उन्हें जिहादी एवं मुजाहिद बनाता है, जिसके लिए वो भारत में दोनों समुदाय के बीच धर्म की आग लगाते हैं और उन्हें हिंदु समुदाय के लोग मुस्लिम समुदाय पर अत्यचार कर रहे हैं इस बात के फर्जी प्रोपोगंडा के जाल में फंसाया जाता है. ये वीडियो ISIS के कुछ खास टेलीग्राम ग्रुप में डाले जाते हैं. जिनके नाम हैं- हिन्दू लव ट्रैप, भगवा लव ट्रैप.
इनके हर एक ग्रुप में लगभग 1200- 1300 लोग होते हैं, जिनके दिमाग में फेक प्रोपागंडा के जरिये हर रोज ये नफरती आग भड़काई जाती है. किसी भी नौजवान के दिमाग में नफरत भरने के बाद उस मुजाहिद को अल मुक्ताबीर ग्रुप में जोड़ा जाता है, जहां उन्हें मनबा उल जिहाद, उम्र मीडिया, आर्मी ऑफ मेहदी, अबु हफसा, जिहाद एफ आई सबिल्लाह, अल मुतरजिम नाशीद मीडिया और कई ग्रुप में शामिल कर जिहाद के नाम पर लड़ने और हथियार उठाने के लिए भड़काया जाता है. खास बात ये है कि इस ग्रुप में 200 से 300 मुजाहिद शामिल किए जाते हैं और जांच एजेंसियों को चकमा देने के लिए हर हफ्ते इन ग्रुप को बंद कर नया ग्रुप का लिंक टेलीग्राम के जरिये सदस्यों तक पहुंचाया जाता है.
इसके बाद एक मुजाहिद्दीन तैयार हो जाता है, जिसे ग्रुप में शामिल कर आतंक की ट्रेनिंग दी जाती है, जिसमें हथियार चलाने से लेकर बम बनाने तक की ट्रेनिंग होती है. इन ग्रुप में एक बार में 100 से 200 मुजाहिद्दीन शामिल होते हैं. साथ ही, (dawlah cyber divison) नाम का एक ग्रुप बना कर उन्हें मोबाइल से जुड़ी सिक्योरिटी को लेकर जानकरी भी दी जाती है, जिसमें बताया जाता है कि कैसे सभी मुजाहिद्दीन अपने ऑपरेटर से सिक्योर नेटवर्क के जरिये मोबाइल पर जुड़ सकते हैं और सबकी नजर से बच सकते हैं. एक नौजवान को मुजहिद्दीन बनाने के बाद उसे ISIS द्वारा तय टास्क दिया जाता है जिसके लिए अलग से टेलीग्राम या व्हाट्सएप पर ग्रुप बनाये जाते हैं.
ग्रुप की लिस्ट, पासबान ऑफ इंडिया, आई ऑफ हिन्द, स्टूडेंट्स ऑफ हिन्द मैसेज ऑफ इस्लाम, पासबान मूवमेंट ऑफ इंडिया, दरगढ़ इ हिन्द, गज़्वातुल हिन्द, इलहान नाफिउल, अल हिन्द, अल हक, दवाह तो हक्क, मुस्लिम ऑफ हिन्द इस एक ग्रुप में 400 लोगों को शामिल किया जाता है, यहां दंगो से लेकर लोगों को मारने एवं आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने के बारे में खुलकर चर्चा की जाती है, खास बात ये है कि हर महीने इस ग्रुप को बंद कर नया ग्रुप बना दिया जाता है.
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