अबुधाबी। इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) में सही समय पर लय हासिल करने वाली सनराइजर्स हैदराबाद (SRH) की टीम रविवार को जब टूर्नामेंट के दूसरे क्वालीफायर में दिल्ली कैपिटल्स (DC) के खिलाफ मैदान पर उतरेगी तो उसका पलड़ा भारी होगा। इस मैच के विजेता का सामना फाइनल में मुंबई इंडियन्स से होगा।
सनराइजर्स हैदराबाद के लिए पिछले चारों मुकाबले करो या मरो के थे लेकिन टीम ने सभी में जीत दर्ज की तो वहीं शुरूआती मैचों में शानदार प्रदर्शन करने वाली दिल्ली कैपिटल्स की टीम टूर्नामेंट के आखिरी चरण तक पहुंचते-पहुंचते लय से भटक गयी।
शुरूआती चरण में लचर प्रदर्शन करने वाली हैदराबाद की टीम की वापसी का श्रेय कप्तान डेविड वॉर्नर को जाता है जिन्होंने अपने खिलाड़ियों का शानदार इस्तेमाल किया। दूसरी तरफ शुरूआती नौ मैचों में सात जीत दर्ज करने वाले दिल्ली कैपिटल्स की पिछले छह मैचों में पांच हार से कप्तान श्रेयस अय्यर की योजनाओं को झटका लगा है।
युवा कप्तान अय्यर टूर्नामेंट के 13वें सत्र में टीम को पहली बार फाइनल में ले जाना चाहेंगे तो वहीं वॉर्नर 2016 की सफलता को एक बार फिर से दोहराकर दूसरी बार टीम को चैम्पियन बनाना चहेंगे। वॉर्नर अगर अगले दो मैचों में जीत दर्ज करने में सफल रहे तो टूर्नामेंट में सबसे कम अनुभव वाले खिलाड़ियों के साथ जीत दर्ज करने का सेहरा उनके सिर बंधेगा।
दिल्ली की टीम के लिए सबसे बड़ी चिंता उनके शीर्ष क्रम के बल्लेबाजों की है। शिखर धवन (15 मैचों में 525) ने कुल मिलाकर अच्छा प्रदर्शन किया है लेकिन पिछले कुछ मैचों में बड़ी पारी खेलने में नाकाम रहे। युवा पृथ्वी शॉ (13 मैचों से 228) की कमजोरियां बेहतर तेज गेंदबाजी के खिलाफ उजागर हो गयी तो वहीं अनुभवी अजिंक्य रहाणे (7 मैचों में 111) ने अब तक केवल एक मैच में दमदार प्रदर्शन किया है।
टीम के कोच रिकी पोंटिंग सलामी बल्लेबाजों के खाता खोले बगैर आउट होने से परेशान हैं। टूर्नामेंट में अब तब नौ बार ऐसा हो चुका है जिसमें धवन चार, साव तीन और रहाणे दो बार स्कोररों को परेशान किये बिना पवेलियन लौट गये।
मुंबई इंडियन्स के खिलाफ पहले क्वालीफायर मुकाबले को छोड़कर टीम के गेंदबाजों ने अब तक अच्छा प्रदर्शन किया है। कागिसो रबाडा (25 विकेट), एनरिक नॉर्खिया (20) और रविचंद्रन अश्विन (13) ने अधिकांश मैचों में अच्छा प्रदर्शन किया है।
सनराइजर्स की बल्लेबाजी इकाई ने पिछले कुछ मैचों में लय हासिल की है जिसे टीम के हरफनमौला जेसन होल्डर ने भी माना। होल्डर ने कहा, ‘हमने आक्रामक शुरूआत के साथ बल्लेबाजी में अच्छा किया है। जाहिर है वॉर्नर ने इसकी अगुवाई की जिनका रिद्धिमान साहा ने अच्छा साथ दिया। जॉनी बेयर्स्टो ने भी अच्छा किया और मनीष पांडे ने लय बरकरार रखी। केन विलियमसन के रूप में टीम के पास शांत दिमाग वाला बल्लेबाज है।’
चोट के कारण साहा एलिमिनेटर मुकाबले में टीम का हिस्सा नहीं थे और क्वालीफायर में भी उनके खेलने की संभावना कम है। टूर्नामेंट के छह मैचों में 13 विकेट लेने वाले वेस्टइंडीज के इस कप्तान ने कहा, ‘हमें श्रीवत्स गोस्वामी पर भरोसा है। वह काफी समय से टीम के साथ है, उसका आत्मविश्वास बढ़ाने की जरूरत है।’
गेंदबाजी में सनराइजर्स के पास संदीप शर्मा, होल्डर, शाहबाज नदीम, टी नटराजन और राशिद खान जैसे फार्म में चल रहे गेंदबाज हैं । संदीप ने पावरप्ले में और नटराजन ने डैथ ओवरों में शानदार प्रदर्शन किया है। राशिद बीच के ओवरों में काफी किफायती साबित हुए हैं। टीम की एकमात्र कमजोर कड़ी मध्यक्रम की बल्लेबाजी है जहां प्रियम गर्ग और अब्दुल समद जैसे युवाओं को अपने करियर की सबसे बड़ी चुनौती से गुजरना होगा।
दोनों टीमें इस प्रकार हैं:
दिल्ली कैपिटल्स : श्रेयस अय्यर (कप्तान), कगिसो रबाडा, मार्कस स्टोइनिस, संदीप लामिछाने, ईशांत शर्मा, अजिंक्य रहाणे, रविचंद्रन अश्विन, शिखर धवन, शिमरोन हेटमायर, एलेक्स केरी, मोहित शर्मा, पृथ्वी शॉ, ललित यादव, आवेश खान, अक्षर पटेल, तुषार देशपांडे, रिषभ पंत, हर्षल पटेल, कीमो पॉल, अमित मिश्रा, एनरिच नॉर्खिया, डैनियल सैम्स।
सनराइजर्स हैदराबाद: डेविड वॉर्नर (कप्तान), जॉनी बेयर्स्टो, केन विलियमसन, मनीष पांडे, श्रीवत्स गोस्वामी, विराट सिंह, प्रियम गर्ग, रिद्धिमान साहा, अब्दुल समद, विजय शंकर, मोहम्मद नबी, राशिद खान, जैसन होल्डर, अभिषेक शर्मा, बी संदीप शर्मा, संजय यादव, फैबियन एलेन, पृथ्वी राज यरा, खलील अहमद, संदीप शर्मा, शाहबाज़ नदीम, सिद्धार्थ कौल, बिली स्टेनलेक, टी नटराजन, बासिल थम्पी।
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