इंदौर। आगामी वित्त वर्ष के लिए अचल सम्पत्तियों (fixed assets) की जो गाइडलाइन (guideline) तय की जाना है उसकी प्रक्रिया इंदौर (Indore) के पंजीयन विभाग ने लगभग पूरी कर ली है। जिला मूल्यांकन समिति में 800 से अधिक उन स्थानों की गाइडलाइन बढ़ाने की अनुशंसा की है, जहां पर इस वित्त वर्ष में सबसे अधिक जमीनों के सौदे हुए और रजिस्ट्रियां (registries) भी हुई। वहीं दो दर्जन से अधिक नई कॉलोनियों को भी शामिल करने के आवेदन प्राप्त हुए हैं।
11 मार्च को भोपाल में केन्द्रीय मूल्यांकन समिति की बैठक होना है, जिसमें इंदौर सहित अन्य जिलों से प्राप्त प्रस्तावों पर निर्णय होंगे। लिहाजा आज जिला पंजीयन कार्यालय द्वारा इंदौर की प्रस्तावित गाइडलाइन को लेकर जो अनुशंसाएं की गई हैं उसके प्रस्ताव भोपाल मुख्यालय भेज दिए जाएंगे। फिर 11 मार्च की बैठक में तय होगा कि किन क्षेत्रों में कितनी गाइडलाइन बढ़ाई गई है अथवा नहीं, क्योंकि लोकसभा चुनाव के चलते यह भी कयास लगाए जा रहे हैं कि गाइडलाइन में अधिक परिवर्तन फिलहाल न हो। वरिष्ठ जिला पंजीयक दीपक कुमार शर्मा के मुताबिक गत वर्ष जहां पूरे वित्त वर्ष में 2084 करोड़ का राजस्व मिला था, तो इस वित्त वर्ष में फिलहाल ही 2100 करोड़ रुपए से अधिक राजस्व मिल चुका है। अभी शनिवार और रविवार की छुट्टियों में भी रजिस्ट्रियां होंगी। सिर्फ होली के दिन ही अवकाश रहेगा। साथ ही सभी उपजिला पंजीयकों के स्लॉटों की संख्या भी 59 से बढ़ाकर 72 कर दी है। यानी रोजाना 700 से अधिक रजिस्ट्रियां हो सकेंगी। वैसे भी मार्च के माह में सर्वाधिक रजिस्ट्रियां होती हैं, क्योंकि 1 अप्रैल से बढ़ी हुई गाइडलाइन लागू हो जाती है। वहीं सम्पदा सॉफ्टवेयर पाइंट-2 के अपडेशन को भी आगामी वित्त वर्ष से अपनाए जाने के प्रयास चल रहे हैं, जिसमें कई सुविधाएं मिलेंगी।
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