इंदौर। पुराने भूमाफियाओं की धरपकड़ और उनका अंजाम देखने के बावजूद जमीनी जादूगर लोगों को ठगने से बाज नहीं आ रहे हैं। बिचौली में टाउन एंड कंट्री प्लानिंग के स्वीकृत एक पुराने नक्शे के आधार पर पहले तो भूस्वामी ने बैंकों से करोड़ों का लोन ले लिया, फिर लोन जमा कराने के लिए इंदौरी जादूगरों को सस्ते में जमीन टिका दी। इन जादूगरों ने उस पुराने नक्शे को आधार बनाकर जमीन के टुकड़े कर कई लोगों को ठग लिया।
बिचौली के खसरा नंबर 287/6 का 12 वर्ष पूर्व 23 मई 2009 को टाउन एंड कंट्री प्लानिंग से अशोक कुमार, पंकज जैन और विनय छजलानी ने एक नक्शा स्वीकृत कराया था। इसमें मौजूद 30 मीटर की सडक़ सरकारी कांकड़ में डाल दी गई। उक्त स्वीकृत नक्शे के आधार पर हरदा के अग्रवाल परिवार को उक्त भूमि बेच दी गई। इसी नक्शे के आधार पर जमीन खरीदने वाले अग्रवाल ने बैंक से करोड़ों का लोन ले लिया। उक्त लोन चुकाने के लिए भूस्वामी ने कम दाम में ही जमीन का सौदा दलालों को इसलिए किया, क्योंकि उक्त जमीन के बीच में से मास्टर प्लान की स्वीकृत 45 मीटर की सडक़ निकल रही है। इस कारण जमीन का एक बड़ा भाग सडक़ में जा रहा है। दलालों ने उक्त तथ्य छिपाते हुए कृषि भूमि के तीन टुकड़े कर बाजार में बेच डाले। दलालों को पता था कि यदि उक्त भूमि का नया नक्शा स्वीकृत कराएं तो जमीन का बड़ा हिस्सा मास्टर प्लान की सडक़ और निजी सडक़ के साथ ही बगीचे में चला जाएगा। इसलिए कृषि भूमि बेचकर दलालों ने लोगों को ठग लिया। अब जिन लोगों ने उक्त जमीन को खरीदा है वे जब नक्शा स्वीकृत कराने के लिए टाउन एंड कंट्री प्लानिंग में जाएंगे तो जमीन की जगह सडक़ हाथ आएगी।
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