रेलवे बोर्ड से मिला अप्रूवल, मात्र 20 रु. में हो सकेगा मेट्रो का सफर… फिलहाल रूट छोटा ही रहेगा
इंदौर। इंदौर (Indore) मेट्रो (Metro) के संचालन के लिए मेट्रो कोच और ट्रैक से संबंधित रेलवे बोर्ड (Railway Board) से अप्रूवल (Approval) मिल गया है। रेलवे बोर्ड के अनुसार इंदौर मेट्रो का कोच और बिछाया गया ट्रैक पूरी तरह से फिट है। भारत में मेट्रो रेलवे एक्ट के तहत संचालित होती है, इसलिए मेट्रो को वायडक्ट पर चलाने से पहले रेलवे बोर्ड से अनुमोदन लेना अनिवार्य है। रेलवे बोर्ड की मंजूरी के बाद अब कमिश्नर ऑफ मेट्रो रेलवे सेफ्टी जनक गर्ग रंगपंचमी के बाद इंदौर आएंगे और मेट्रो का फाइनल चेक करेंगे। इसके बाद मेट्रो का आम लोगों के लिए संचालन शुरू हो जाएगा।
शुरुआत में गांधीनगर मेट्रो स्टेशन से सुपर कॉरिडोर स्टेशन नंबर तीन के बीच 5.9 किलोमीटर के हिस्से में मेट्रो का संचालन शुरू किया जाएगा। ऐसी संभावना जताई जा रही है कि 23 मार्च के बाद प्रदेश सरकार और मेट्रो प्रबंधन मुख्यमंत्री मोहन यादव की उपस्थिति में एक भव्य आयोजन कर मेट्रो का कमर्शियल रन शुरू करेंगे। सीएमआरएस के आगामी निरीक्षण के बाद फाइनल क्लीयरेंस मिलते ही इंदौर मेट्रो का कमर्शियल रन शुरू हो जाएगा।
15 से 30 मिनट के अंतराल पर चलेगी मेट्रो
मेट्रो के कमर्शियल रन के दौरान 15 से 30 मिनट के अंतराल पर एक मेट्रो कोच सेट का संचालन किया जाएगा। यात्रियों की संख्या के आधार पर इस समय को बढ़ाया या घटाया जा सकेगा।
यात्रियों के लिए न्यूनतम किराया तय
मेट्रो में सफर करने वाले यात्रियों के लिए न्यूनतम किराया 20 रुपये तय किया गया है। हालांकि, शुरुआत में मेट्रो प्रबंधन प्रमोशनल डिस्काउंट देने की योजना बना रहा है। इसके तहत यात्री शुरुआत में 10 रुपये में भी मेट्रो का सफर कर सकेंगे।
अगस्त तक बढ़ेगा मेट्रो का रूट
मेट्रो प्रबंधन अगस्त तक गांधीनगर मेट्रो स्टेशन से रेडिसन चौराहे तक 11.7 किलोमीटर के हिस्से में मेट्रो का संचालन शुरू करने की योजना बना रहा है। इसके साथ ही शहरवासियों को गांधीनगर से रेडिसन चौराहे तक मेट्रो में सफर करने का मौका मिलेगा।
यात्रियों के लिए तैयार हैं सभी सुविधाएं
इंदौर मेट्रो के सभी पांच स्टेशन पूरी तरह से तैयार हैं। स्टेशनों पर यात्रियों की सुविधा के लिए लिफ्ट, एस्केलेटर, सुविधाघर, पीने के पानी की व्यवस्था और अन्य सुविधाएं उपलब्ध हैं। टिकट काउंटर पर कर्मचारी और स्टेशन परिसर में सुरक्षाकर्मी भी तैनात किए गए हैं।
सीएमआरएस की टीम ने पहले भी किया था निरीक्षण
सीएमआरएस की टीम पहले भी इंदौर मेट्रो के डिपो और कोच का निरीक्षण कर चुकी है। इसके अलावा, टीम ने सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर के 5.9 किलोमीटर के हिस्से में बने पांच मेट्रो स्टेशनों का भी निरीक्षण किया था। निरीक्षण के दौरान टीम ने कुछ सुझाव दिए थे, जिन्हें मेट्रो प्रबंधन ने पहले ही दुरुस्त कर लिया है।
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