इन्दौर। कई जगह बदहाल सडक़ों (Roads) को बनाने के मामले कहीं टेंडर (Tender) तो कहीं अन्य प्रक्रियाओं में उलझे हुए हैं, जबकि निगम (Corporation) के अधिकारी कई वार्डों में अच्छी-भली सडक़ों को खोदने का कमाल भी कर रहे हैं। वार्ड 72 की जैन कालोनी (Jain Colony) में कुछ सालों पहले ही बनी पांच नई सडक़ों को खोदकर वहां नई सडक़ें बनाने का काम शुरू कर दिया गया। कल वहां के रहवासी एमआईसी मेंबर (MIC Member) के पास शिकायत करने पहुंचे तो उन्होंने झोनल अधिकारी को फटकार लगाई और कारण पूछा तो बताया गया कि वहां जलजमाव होता है, इसलिए नई सडक़ें बना रहे हैं। अब पूरे मामले की जांच के लिए निगमायुक्त को पत्र लिखा गया है।
कल जैन कालोनी के कई रहवासी संयुक्त रूप से नगर निगम पहुंचे और जनकार्य समिति प्रभारी राजेंद्र राठौर के पास पहुंचकर शिकायत की कि वार्ड 72 स्थित जैन कालोनी में बिना आवश्यकता के सडक़ें खोदकर नई बनाई जा रही हैं और पिछले तीन-चार दिनों से वहां काम चल रहा है। रहवासियों ने बताया कि पांच गलियों की अच्छी-भली नई सडक़ें जेसीबी की मदद से खोद दी गईं और वहां आसपास के लगे पेवर ब्लाक भी निकालकर निगम के डंपरों में अन्य स्थानों पर पहुंचा दिए गए। रहवासियों का कहना था कि अगर सडक़ बनाई जा रही थी तो कुछ मकानों के कब्जे भी हटाए जाना थे, लेकिन कार्रवाई नहीं करते हुए कुछ सालों पहले ही बनी सडक़ों को खोदा जा रहा है। इनमें अधिकांश सडक़ें सीमेंट की हैं।
अग्निबाण सवाल…
जनता के पैसों का दुरुपयोग या ठेकेदारों से कमीशनबाजी… जिम्मेदारों से हो वसूली
शहर के कई क्षेत्रों की सडक़ें बनाने के मामले उलझन में पड़े हुए हैं और उन्हीं स्थानों पर सडक़ निर्माण कार्य शुरू हो पाते हैं, जहां अधिकारियों की रुचि होती है। कई जगह बनी हुई सडक़ें खोदने के मामले को लेकर पूर्व में भी कई शिकायतें हुई थीं। अब ऐसे मामले में लापरवाही करने वाले जिम्मेदार अफसरों पर कार्रवाई करते हुए उन्हीं के वेतन से हुए नुकसान की भरपाई होना चाहिए।
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