महिलाओं के लिए तैयार पहला पिंक टॉयलेट आज उद्घाटित… 15 साल तक रख-रखाव भी करेगी निजी फर्म
इंदौर। शहर में महिलाओं के लिए सुविधाओं की कमी को अब नगर निगम दूर करने जा रहा है। इस साल 25 विभिन्न स्थानों पर महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट, जिसे शी कूंज नाम दिया गया है और हर साल फिर इतने ही टॉयलेट 15 सालों तक बनते रहेंगे। 375 पिंक टॉयलेट बनवाकर निगम को 5.87 करोड़ की कमाई भी होगी और 15 सालों तक इनका रख-रखाव भी निजी फर्म द्वारा किया जाएगा। आज पहले पिंक टायलेट का उद्घाटन मंत्री उषा ठाकुर ने पलासिया चौराहा स्थित पुलिस महिला थाने के पास किया। इस सर्वसुविधायुक्त पिंक टॉयलेट में बच्चों को दूध पिलाने के लिए भी अलग से कमरा बनाया गया है, जहां सोफे सहित अन्य सुविधा रहेगी। निगम को एक साल में 32 लाख 50 हजार रुपए की आय होगी और बदले में निजी फर्म इन पर विज्ञापनों का प्रदर्शन कर सकेगी। 400 स्क्वेयर फीट में ये टॉयलेट बनाए जा रहे हैं।
नगर निगम ने खुले में शौच से मुक्ति के लिए हालांकि शहरभर में शौचालयों, मूत्रालयों, सुविधा घरों का निर्माण करवाया है, मगर इनमें महिला के साथ पुरुषों की भी एंट्री रहती है, जिसके चलते कम ही महिलाएं इनका इस्तेमाल कर पाती है। अब सिर्फ महिलाओं के लिए ही शहरभर में ये पिंक टॉयलेट निगम बनवा रहा है। इंदौर स्मार्ट सिटी डवलपमेंट लिमिटेड द्वारा शहर के 25 अलग-अलग स्थानों पर ये पिंक टॉलेट, जिसे शी कुंज नाम दिया गया है, बनवाए जा रहे हैं जिनमें से पहला टॉयलेट पुलिस महिला थाना पलासिया चौराहा के पास निर्मित किया गया है, जिसका शुभारंभ पर्यटन व संस्कृति मंत्री उषा ठाकुर ने किया। नगर निगम 400 स्क्वेयर फीट जगह इन टायलेटों के निर्माण के लिए निजी फर्म को देगा, जिस पर सर्वसुविधायुक्त टायलेट बनेगा, जिसमें एक कक्ष नवजात शिशु की फिडिंग, डायपर बदलने व अन्य कार्य के लिए भी रहेगा। वहीं महिलाओं के लिए आवश्यक प्रसाधन, सामग्री के साथ वेटिंग एरिया भी उपलब्ध रहेगा। ये सभी टायलेट पीपीपी मॉडल पर नगर निगम बनवा रहा है और संबंधित ठेकेदार फर्म को 15 सालों तक इनका रख-रखाव करना पड़ेगा। इन टायलेटों के निर्माण पर इंदौर स्मार्ट सिटी डवलपमेंट लि. को कोई खर्च वहन नहीं करना पड़ेगा और नि:शुल्क महिलाओं को सुविधा दी जाएगी और रख-रखाव भी फर्म ही करेगी। उल्टा बदले में स्मार्ट सिटी डवलपमेंट को इन 25 टायलेटों से सालाना 32 लाख 50 हजार रुपए की आय होगी। इनमें महिला सुरक्षाकर्मी ही पदस्थ रहेंगी और इन टायलेटों में इस्तेमाल होने वाली आवश्यक वस्तुएं इंदौर के ही स्वयं सहायता समूहों से तैयार की हुई रखवाई जाएगी। नगर निगम ने हर साल 25-25 ऐसे पिंक टायलेज निर्मित करवाने का लक्ष्य रखा है। लिहाजा 15 सालों में कुल ऐसे 375 पिंक टॉयलेट बनाए जाएंगे, जिसके बदले नगर निगम को कुल 5 करोड़ 87 लाख रुपए तक की कमाई भी होगी। पिंक टॉयलेट के निर्माण, रख-रखाव, संचालन का पूरा खर्चा निजी फर्म द्वारा ही वहन किया जाएगा और बदले में वह उस पर विज्ञापन प्रदर्शित कर आय अर्जित कर सकेगी।
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