इंदौर। नगर निगम ने स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत मध्य क्षेत्र में 4 करोड़ की लागत से सीपी शेखर नगर उद्यान बनाया था और इसकी खूब तारीफें हुई थीं। पांच साल तक गाजियाबाद की एक कम्पनी ने इसका मेन्टेनेंस किया था और अब मेन्टनेंस का करार खत्म होने के बाद वहां स्थिति बदहाल नजर आ रही है। शाम से लेकर रात तक वहां शराब पीने वालों का जमघट लगा रहता है। दूसरी ओर उद्यान में लगाए गए सामान भी धीरे-धीरे गायब होने लगे हैं।
सीपी शेखर नगर की बस्ती को हटाकर वहां तमाम कार्य शुरू कराए गए थे, जिसके तहत खाली हुई जमीन पर एक एसटीपी प्लांट बनाया गया था, जो चल रहा है, वहीं दूसरी ओर कान्ह नदी के हिस्सों को बेहतर ढंग से संवारा गया था और आसपास के हिस्सों में पाथवे बनाने के साथ नदी का कटाव रोकने के लिए ऐरन के पत्थरों की दीवारें बनाई गई थीं। इनके सबके साथ-साथ स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत 4 करोड़ की लागत से मध्य क्षेत्र में आकर्षक उद्यान बनाया गया था। इसके मुख्य द्वार पर होलकरकालीन राजाओं के आकर्षक चित्र लगाए गए थे।
बच्चों के लिए खेल उपकरण से लेकर वहां आने वालों के लिए कई वाकिंग ट्रैक के साथ-साथ सुविधाएं जुटाई गई थीं। इसका काम रायल इन्फ्रा गाजियाबाद द्वारा किया गया था और करार के मुताबिक पांच साल तक उक्त कंपनी द्वारा ही उद्यान का मेन्टेनेंस संभाला जाता था। अब समयावधि खत्म होने के बाद कंपनी ने वहां का मेन्टेनेंस बंद कर दिया है, जिसके चलते अब उद्यान की हालत बदतर हो रही है। वहां से कई सामग्रियां चोरी हो गई हैं और देखरेख के अभाव में लगाए गए पौधे भी खराब हो रहे हैं। इसके अलावा शाम को नशा करने वाले जमे रहते हैं। वहां सुबह घूमने वाले लोगों ने निगम अधिकारियों को शराब की बोतलें पड़ी होने और अव्यवस्थाओं को लेकर शिकायत भी की है। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के कार्यपालन यंत्री डीआर लोधी का कहना है कि रायल इन्फ्रा का करार खत्म होने के बाद अब हमने निगम को उद्यान संभालने के लिए पत्र जारी कर दिया है।
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