इंदौर। जिन लोगों को कोरोना नहीं हुआ, या उन्हें होकर चला गया और उन्हें पता ही नहीं चला, ऐसे कई लोग भी ब्लैक फंगस का शिकार हो रहे है, 42 ऐसे मरीज है, जिनका एमवाय में इलाज चल रहा है। यहां लगातार मरीजों की संख्या में कमी आ रही है, लेकिन फिर भी तीन सौ से अधिक मरीज इलाजरत हैं। अब गंभीर मरीजों की संख्या में भी काफी कमी आई है।
अब तक देखने में आ रहा था कि ब्लैक फंगस सिर्फ कोरोना से ग्रसित हुए मरीजों को ही रहा है, लेकिन अब देखने में आ रहा है कि कई ऐसे मरीज भी हैं, जिन्हें कोविड नहीं हुआ या उन्हें पता ही नहीं चला, लेकिन वे भी ब्लैक फंगस बीमारी से ग्रसित हो गए हंै, अब तक ऐसे कई मरीज एमवाय अस्पताल में भर्ती हुए है। ऐसे 42 मरीजों को इलाज किया जा रहा है। एमजीएम मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. संजय दीक्षित ने बताया कि हमारे पास ऐसे कई मरीज आ रहे है, जिन्हें कोरोना के किसी भी तरह के लक्षण नहीं दिखाई दिए या वे साधारण लक्षण वाले मरीज थे, उन्हें भी ब्लैक फंगस ने अपना शिकार बनाया है। ज्यादातर इन मरीजों को मुंह और नाक में ही फंगस दिखाई दिया है। इन मरीजों की सर्जरी कर जल्द ही छुट््टी दी जा रही है।
बाहरी मरीज ज्यादा
एमवाय अस्पताल में लगातार ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या बढ़ रही है, लेकिन अब शहरी क्षेत्रों के मरीज कम है। यहां पर 60 प्रतिशत मरीज इन्दौर के बाहर हैं। बाहरी मरीजों की संख्या लगातार बनी हुई है। इन्दौर संभाग के साथ-साथ अन्य प्रदेशों के भी मरीज आ रहे हैं।
कल हुई 23 सर्जरी
ब्लैक फंगस के मरीजों के लिए अस्पताल में लगातार सर्जरी का सिलसिला जारी है। कल 23 मरीजों की सर्जरी हुई। अब तक 458 लोगों की सर्जरी हो चुकी है, जिसमें कई गंभीर मरीज भी शामिल हैं। कल ही 27 मरीजों की एंडोस्कोपी हुई। अब कल ब्लैक फंगस से दो मरीजों की मौत भी हो चुकी है।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved