नई दिल्ली: म्यांमार में आए भूकंप में अब तक कुल एक हजार लोगों की मौत हो गई है. ऐसे में अपने पड़ोसी देश की मदद के लिए भारत पूरी तरह से तत्पर है. भारत की 15 टन राहत सामग्री यंगून पहुंच गई है. विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा कि ऑपरेशन ब्रह्मा शुरू हो गया है. भारत से मानवीय सहायता की पहली खेप म्यांमार के यांगून हवाई अड्डे पर पहुंच गई है.
विदेश मंत्री ने कहा कि IAF_MCC-130 कंबल, तिरपाल, स्वच्छता किट, स्लीपिंग बैग, सोलर लैंप, भोजन के पैकेट और रसोई सेट भेजा गया है. इसके जरिए मेडिकल सुविधाएं भी भेजी गई हैं. यहां भूकंप की वजह से प्रभावित क्षेत्रों पर NDRF की 8वीं बटालियन और भारतीय वायुसेना म्यांमार में भूकंप प्रभावित लोगों की मदद के लिए इस रेस्क्यू ऑपेशन का हिस्सा बने हैं.
म्यांमार में भेजी गई 15 टन राहत सामग्री भारतीय वायु सेना के विमान के माध्यम से हिंडन एयरबेस से भेजी गई. राहत सामग्री में खाद्य पदार्थ, मेडिकल सहायता, वहां के लोगों के लिए रहने वाली सामग्री और दूसरी जरूरी वस्तुएं शामिल हैं. इनकी मदद से म्यांमार में हाल ही में आए भूकंप से प्रभावित लोगों की सहायता मिलेगी. भारत का ये मिशन संकट के समय पड़ोसी देशों को समय पर सहायता प्रदान करने में भारत की सक्रिय भूमिका को जाहिर करता है.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जयसवाल ने कहा कि म्यांमार को राहत सामग्री सौंपी गई. आज यांगून में राजदूत अभय ठाकुर द्वारा राहत सामग्री की पहली खेप औपचारिक रूप से यांगून के मुख्यमंत्री यू सोई थीन को सौंपी गई.
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