पटना: केंद्रीय जांच एजेंसी ने जुलाई, 2022 में फुलवारी शरीफ में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया यानी पीएफआई (PFI) के ठिकानों पर छापेमारी की थी. इस रेड में एनआईए ने भारत को 2047 तक इस्लामिक राष्ट्र बनाए जाने की साजिश का भांडाफोड़ किया था. इस केस से जुड़े सात लोगों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है. अब इस मामले में नया खुलासा हुआ है जो काफी हैरान करनेवाला है. दरअसल, कट्टरवादी संगठन पीएफआइ को संयुक्त अरब अमीरात से हवाला के माध्यम से करोड़ों रुपये का फंड मुहैया कराया जा रहा था. खासकर बिहार, केरल और कर्नाटक जैसे राज्यों में यह नेटवर्क काम कर रहा था.
फुलवारी शरीफ पीएफआइ केस की जांच के सिलसिले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने इसका भांडाफोड़ किया है. इस मामले में एनआइए ने छापेमारी कर कर्नाटक और केरल से पीएफआइ से जुड़े पांच आरोपितों को गिरफ्तार किया है. इनमें मो. सिनान, सरफराज नवाज, इकबाल और अब्दुल रफीक को कर्नाटक के दक्षिण कन्नड़ से जबकि आबिद केएम को केरल के कासरगोड़ से गिरफ्तार कर लिया गया है.
हथियार और गोला बारूद के लिए था फंड
एनआइए की मानें तो पीएफआई मामले में शनिवार को केरल और कनार्टक के आठ ठिकानों पर छापेमारी की गई. इसमें कई डिजिटल उपकरण और आपत्तिजनक सामग्री के साथ करोड़ों रुपये के लेन-देन का ब्योरा मिला है. इस पैसे का इस्तेमाल हिंसा के लिए हथियार और गोला-बारूद उपलब्ध कराने के लिए किया जा रहा था. एनआइए की जांच में सरफराज नवाज और मो. सिनन के बैंक खाते में हवाला के जरिए जमा राशि मिली है.
दुबई और अबू धाबी में की गई अवैध उगाही
गिरफ्तार पांचों अभियुक्त पीएफआइ के सक्रिय सदस्य हैं. इनका काम देश के बाहर से फंड इकट्ठा कर उसे पीएफआइ के नेताओं और कैडर को उपलब्ध कराना था. एनआइए के सूत्रों की मानें तो जांच में पता चला कि इकबाल ने अपने साथियों के साथ दुबई और अबू धाबी में अवैध तरीके से रुपयों की उगाही की. भारत में इसे मो. सिनन, सरफराज नवाज, अब्दुल रफीक और आबिद केएम को मुहैया कराया. सरफराज, सिनन और रफीक के अलग-अलग बैंक खातों में हवाला के जरिए जमा राशि पाई गई है. जल्द ही इन पांचों अभियुक्तों को पटना के एनआइए विशेष कोर्ट में पेश किया जाएगा.
सितंबर, 2022 में पीएफआई पर लगा था बैन
बता दें कि एनआइए ने जुलाई में फुलवारीशरीफ में पीएफआइ के ठिकानों पर छापेमारी कर देश को इस्लामिक राष्ट्र बनाए जाने की साजिश का पर्दाफाश किया था. इस केस से जुड़े सात लोगों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है. फुलवारी शरीफ में छापेमारी के बाद देश भर में पीएफआइ के अलग-अलग ठिकानों पर छापेमारी की गई थी. इसके बाद बीते 27 सितंबर को पीएफआई पर प्रतिबंध लगा दिया गया था. फरवरी में पूर्वी चंपारण में छापेमारी के दौरान पीएफआई से जुड़े तीन अन्य सदस्यों को भी गिरफ्तार कर लिया गया था.
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