नई दिल्ली. आगामी 24 जून से 18वीं लोकसभा (Lok Sabha) का पहला सत्र शुरू होने जा रहा है. 26 जून को लोकसभा अपने नए अध्यक्ष (Speaker) का चुनाव करेगी. माना जा रहा है कि स्पीकर के चुनाव में विपक्ष (opposition) भी अपना उम्मीदवार (candidate) खड़ा कर सकता है. 4 जून को लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजे आए थे. बीजेपी (BJP) के नेतृत्व वाले एनडीए (NDA) ने 293 सीटों पर जीत हासिल की है, जबकि INDIA ब्लॉक को 234 सीटें मिली हैं.
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लोकसभा चुनाव 2024 में ‘इंडिया’ ब्लॉक (विपक्ष) की सीटें बढ़ने के साथ ही 10 साल बाद निचले सदन को विपक्ष का नेता भी मिलेगा. साथ ही विपक्ष उपाध्यक्ष पद के चुनाव की भी उम्मीद कर रहा है. बता दें कि पिछले पांच साल से उपाध्यक्ष का पद खाली है.
17वीं लोकसभा में पांच साल तक उपाध्यक्ष का पद रिक्त रहा. साथ ही यह दूसरी बार था जब सदन में कोई नेता प्रतिपक्ष नहीं था. आमतौर पर उपाध्यक्ष का पद विपक्ष को दिया जाता है. विपक्ष के एक नेता का कहना है कि वे इसके लिए सदन में दबाव बनाएंगे कि इस बार उपाध्यक्ष का पद खाली न छोड़ा जाए.
बीजेपी उम्मीदवार का समर्थन करेंगी जेडीयू और टीडीपी
जनता दल (यूनाइटेड) के नेता केसी त्यागी ने एक दिन पहले कहा कि उनकी पार्टी और तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन का हिस्सा हैं और लोकसभा अध्यक्ष पद के लिए भाजपा द्वारा नामित उम्मीदवार का समर्थन करेंगे. त्यागी ने कहा, ‘जेडीयू (जनता दल-यूनाइटेड) और टीडीपी (तेलुगु देशम पार्टी) मजबूती से एनडीए में हैं. हम बीजेपी द्वारा (स्पीकर के लिए) नामित व्यक्ति का समर्थन करेंगे.’
उनसे कुछ विपक्षी नेताओं की टिप्पणियों के बारे में पूछा गया था कि नया लोकसभा अध्यक्ष टीडीपी या जेडी-यू से हो सकता है. इस पर उन्होंने कहा कि भाजपा केंद्र में अपने सहयोगियों के साथ गठबंधन सरकार का नेतृत्व कर रही है. ‘टीडीपी और जेडीयू एनडीए के साथ हैं. हम बीजेपी द्वारा (स्पीकर के लिए) नामित किए गए व्यक्ति का समर्थन करेंगे.’
विपक्ष ने कहा- अपना स्पीकर बनाएं जेडीयू और टीडीपी
आम आदमी पार्टी ने सोमवार को एनडीए के घटक टीडीपी और जेडी (यू) से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि लोकसभा अध्यक्ष दोनों पार्टियों में से एक हो. AAP ने कहा कि यह उनके साथ-साथ संविधान और लोकतंत्र के हित में होगा.
राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बुधवार को आरोप लगाया कि अगर भाजपा लोकसभा अध्यक्ष का पद अपने पास रखती है तो उसके गठबंधन सहयोगी टीडीपी और जेडीयू को अपने सांसदों की खरीद-फरोख्त के लिए तैयार रहना चाहिए.
24 जून को शुरू होगा सत्र
केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने बुधवार को कहा कि 18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून को शुरू होगा और 3 जुलाई को समाप्त होगा. 9 दिवसीय विशेष सत्र के दौरान, लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव किया जाएगा और नए संसद सदस्य (सांसद) शपथ लेंगे.
इस बीच, राज्यसभा का 264वां सत्र 27 जून से 3 जुलाई 2024 तक आयोजित किया जाएगा. 2014 के बाद यह पहला संसद सत्र है, जिसमें भाजपा कम ताकत के साथ सत्ता में लौटी है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 27 जून को दोनों सदनों की संयुक्त बैठक को संबोधित करेंगी.
शपथ लेंगे नवनिर्वाचित सांसद
वह अगले पांच वर्षों के लिए नई सरकार के रोडमैप की रूपरेखा तैयार कर सकती हैं. राष्ट्रपति के अभिभाषण के बाद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा संसद में अपने मंत्रिपरिषद का परिचय कराने की उम्मीद है. सत्र के पहले तीन दिनों के दौरान नवनिर्वाचित सांसद शपथ लेंगे और लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव करेंगे.
विपक्ष के पास लंबे समय के बाद 230 से अधिक सदस्यों की सबसे बड़ी ताकत है, और लोकसभा में 99 सांसदों वाली कांग्रेस पहले से शेयर बाजार घोटाले का आरोप लगाकर और एनईईटी परीक्षा में कथित अनियमितताओं को लेकर सरकार पर हमलावर है. इससे आगामी ससंद सत्र के हंगामेदार होने की पूरी संभावना है.
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