उज्जैन। कल दोपहर तेज अंधड़ एवं तूफान से जहां इंदौर रोड पर पेड़ गिर गए थे और महाकाल लोक की मूर्तियाँ गिर गई थीं, वहीं रात में फिर तेज आंधी चली तथा बारिश हुई जिससे पुराने शहर में रोड जाम हो गए और पेड़ गिर गए। आज सुबह से ही कई क्षेत्रों में जाम की स्थिति बनी हुई थी और सड़क पर टूटे पेड़ पड़े हुए थे। कल रात तेज हवाएँ चलीं। कल सुबह से तेज धूप और गर्मी के बीच दोपहर 3 बजे से शहर में जमकर आंधी और तूफान चलने लगे जिससे शहर में कई मकान क्षतिग्रस्त हो गए और महाकाल लोक की प्रतिमाएँ भी क्षतिग्रस्त हो गईं। दोपहर में चली आंधी में मकान के एलिवेशन तक उड़ गए, वहीं एक सराफा क्षेत्र के मकान के ऊपर पेड़ गिरा जिससे टेलरिंग का काम करने वाले एक व्यक्ति की मौत हो गई और दूसरा व्यक्ति घायल है, वहीं बिजली सुधारते समय एक आउटसोर्स कर्मी की भी करंट लगने से मृत्यु हो गई। इधर दोपहर में तेज अंधड़ के बाद कई क्षेत्रों में पेड़ धाराशायी हुए, वहीं बिजली विभाग के सैकड़ों स्थानों पर तार टूट गए और पूरा शहर ही अंधेर में डूब गया। बिजली के तार टूटने से पेट्रोल पंपों पर काम बंद हो गया था और लोग वाहन में पेट्रोल भराने के लिए इधर से उधर भटकते फिरे।
बिजली सुधारने का काम रात 10 बजे तक चलता रहा तब कहीं जाकर फिर से लाईट आई लेकिन इसके बाद देर रात फिर एकाएक तेज अंधड़ चलना शुरू हो गई और इस बार पुराने शहर में अंधड़ ने कोहराम मचाया और इसका असर यह हुआ कि भर्तहरि गुफा मार्ग, विष्णु सागर, राम जनार्दन मंदिर के पास और ओखलेश्वर शमशान से भैरवगढ़ जाने वाले मार्ग के कई स्थानों पर बड़े-बड़े पेड़ गिर गए और टूटकर गिरे यह पेड़ सड़कों पर पड़े रहे जिसके कारण सुबह जो तीर्थ यात्री आते हैं इसकी वजह से वह वहाँ से नहीं जा पाए। आज सुबह स्थिति यह थी कि इन स्थानों पर जाने के लिए रास्ता बंद था और श्रद्धालु बुरी तरह से परेशान होते रहे। आज सुबह मिलने पर वार्ड क्रमांक 2 के पार्षद हेमंत गहलोत वहाँ पहुँचे और नगर निगम के अधिकारियों को सुबह से फोन लगाना शुरू कर दिया लेकिन इसके बावजूद भी नगर निगम के कर्मचारी नहीं पहुंचे। बाद में निगमायुक्त को फोन लगाया गया जिसके बाद सुबह 10 बजे जेसीबी पहुँची और इन पेड़ों को हटाने का काम शुरू किया गया। रात में चली तेज आंधी से सड़कों पर पेड़ और टूटी हुई टहनियां नजर आ रही थीं। कल शिप्रा परिक्रमा यात्रा निकलना है और यात्री इसी मार्ग से गुजरेंगे, इसके लिए पूरे मार्ग को तत्काल साफ करना आवश्यक हो गया है।
रातभर बिजली नहीं आई
कल रात आंधी चलने के साथ ही एक बार फिर बिजली गुल हो गई जो सुबह 6 बजे ही वापस आई। बिजली कंपनी की वर्षभर की जाने वाली संधारण कार्य की पोल कल दोपहर और रात में चली अंधड़ के बाद खुल गई, जगह-जगह फाल्ट हुए और कई जगहों पर विद्युत के तार टूट गए जिसके कारण पूरा शहर अंधेरे में डूबा रहा। रात में गर्मी और उसम से लोग बेहाल होते रहे और बिजली नहीं मिलने के कारण लोगों ने पूरी रात जाग कर बिताई। इधर आज सुबह तेज धूप निकली हुई थी और अंदाजा लगाया जा रहा है कि शाम होते-होते फिर से बारिश के आसार बनेंगे।
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