नई दिल्ली: अमेरिकी रिपब्लिकन राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार विवेक रामास्वामी ने संघीय जांच ब्यूरो के बारे में अपनी कड़ी राय व्यक्त की है. उन्होंने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर एक पोस्ट में, कहा कि एफबीआई में सुधार नहीं हो सकता है और इसे स्थायी रूप से बंद कर दिया जाना चाहिए. उन्होंने जोर देकर कहा कि राष्ट्रपति के पास ऐसी कार्रवाई करने का अधिकार है. उन्होंने कहा कि मैं निर्वाचित होने पर ऐसा करने का वचन देता हूं.
विवेक रामास्वामी ने पोस्ट में कहा कि ‘एफबीआई में सुधार नहीं किया जा सकता. इसका सही उत्तर है: इसे बंद करो. हाँ, राष्ट्रपति ऐसा कर सकते हैं. मैं करूँगा.’ उनकी इस पोस्ट ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर संघीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों की भूमिका और सुधार के बारे में बहस छेड़ दी है. एक यूजर ने लिखा, ‘इस मामले पर सही कहा है. चाहे आप जीतें या नहीं, मुझे खुशी है कि दौड़ में कोई यह कह रहा है. धन्यवाद.’
एक अन्य ने कहा, “मैं एफबीआई के बारे में आपके सामान्य विचारों से सहमत हूं. हालाँकि, एक वास्तविक सुविचारित बदलाव/संक्रमण योजना की आवश्यकता है. आप अपनी जादू की छड़ी यूं ही नहीं छोड़ सकते. वहां महत्वपूर्ण मौजूदा ऑपरेशन चल रहे हैं. ग्रैन्युलैरिटी आवश्यक है. एक सुविचारित योजना की आवश्यकता है. एक अन्य कमेंट में कहा गया है कि ‘बहुत खूब. यह बिल्कुल सही बयान है. क्या एफबीआई के भीतर भ्रष्टाचार इस तरह का है कि इसे साफ करने का कोई तरीका नहीं है, केवल एक ही विकल्प है; इसे बंद कर दो?’
यह पहली बार नहीं है जब विवेक रामास्वामी ने एफबीआई के बारे में कड़ी राय साझा की है. न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, इससे पहले उन्होंने कहा था कि अगर वह अमेरिकी राष्ट्रपति चुने जाते हैं तो 75 प्रतिशत से अधिक संघीय कार्यबल को बर्खास्त कर देंगे और कई प्रमुख एजेंसियों को बंद कर देंगे. रिपोर्ट में कहा गया है कि रामास्वामी ने कहा था कि वह ‘शिक्षा विभाग, एफबीआई, खाद्य और पोषण सेवा, परमाणु नियामक आयोग और शराब, तंबाकू, आग्नेयास्त्र और विस्फोटक ब्यूरो’ को भंग कर देंगे.
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