मुंबई । भारत (India) ने इस साल यूनिकॉर्न की रेस में ब्रिटेन (Britain) को पीछे छोड़ दिया है. दरअसल, भारत में एक साल के भीतर 33 स्टार्टअप (Start-up) कंपनियों को ‘यूनिकॉर्न’ (Unicorn) का दर्जा मिला है. बता दें कि यूनिकॉर्न का मतलब ऐसे स्टार्टअप से है जिसका वैल्यूएशन कम से कम एक अरब डॉलर हो.
हुरुन लिस्ट में तीसरे नंबर पर भारत
हुरुन रिसर्च इंस्टीट्यूट (Hurun Research Institute) की तरफ से बुधवार को जारी एक लिस्ट में यूनिकॉर्न कंपनियों का ब्योरा दिया गया है. भारत का प्रदर्शन खासा सुधरा है लेकिन अमेरिका और चीन उससे अभी काफी आगे हैं. भारत इस लिस्ट में तीसरे स्थान पर है.
हुरुन लिस्ट में पहले स्थान पर है अमेरिका
अमेरिका में इस साल 254 यूनिकॉर्न कंपनियां खड़ी हुई हैं. इसके साथ ही इस प्रतिष्ठित लिस्ट में शामिल कंपनियों की संख्या बढ़कर 487 हो गई है. दूसरी तरफ चीन में इस साल 74 यूनिकॉर्न कंपनियां खड़ी हुई हैं और कुल संख्या बढ़कर 301 हो गई है.
सिलिकॉन वैली में भी 50 से ज्यादा यूनिकॉर्न के फाउंडर भारतीय
अगर भारत की बात करें तो इस साल 33 स्टार्टअप कंपनियां एक अरब डॉलर से ज्यादा वैल्यूएशन के साथ यूनिकॉर्न का दर्जा पाने में सफल रही हैं. इसके साथ ही भारत में कुल 54 यूनिकॉर्न स्टार्टअप हो गए हैं. वहीं ब्रिटेन में इस साल 15 नए यूनिकॉर्न बनने के साथ कुल संख्या 39 पर पहुंची है और वह भारत के पीछे चौथे स्थान पर खिसक गया है. इसके अलावा अमेरिका में आईटी कंपनियों का गढ़ माने जाने वाले सिलिकॉन वैली में भी 50 से अधिक यूनिकॉर्न कंपनियों के फाउंडर भारतीय हैं.
एक ही साल में दोगुनी हुई भारत ने यूनिकॉर्न की संख्या
हुरुन रिपोर्ट इंडिया के एमडी और चीफ रिसर्चर अनस रहमान जुनैद ने कहा, ”भारत इस समय स्टार्टअप विस्फोट की स्थिति में है. एक ही साल में भारत ने यूनिकॉर्न की संख्या दोगुनी से भी ज्यादा कर ली है.”
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