भोपाल। प्रदेश के हाईप्रोफाइल प्यारे मियां यौन शोषण मामले में पीडि़ताएं बालिका गृह में रह रही हैं। इनमें से एक पीडि़ता ने नींद की गोलियां खा लीं। उसकी हमीदिया अस्पताल में गंभीर हालत बनी हुई है। मामले की गंभीरता को देखते हुए कलेक्टर अविनाश लवानिया ने न्यायायिक जांच के आदेश दे दिए हैं। इस मामले में बाल गृह के कर्मचारियों और अधिकारियों ने कुछ भी बताने से इंकार कर दिया। लेकिन यह सवाल उठने लगे हैं कि बालिका गृह तक नींद की गोलियां किसने पहुंचाईं थीं। परिजनों ने प्रबंधन पर गंभीर आरोप लगाए हैं। नाबालिग के परिजनों ने आरोप लगाया है कि पीडि़ता को नींद की गोली दी गई है। जिसका डोज ज्यादा होने से उसकी स्थिति खराब हो गई। लड़की की मां ने सवाल किया है कि गोलियां बालिका गृह कैसे पहुंची? पीडि़ता की मां ने कहा कि मुझे कोई बोल रहा है मेरी बेटी का ब्रेन डेड हो गया, कोई कह रहा है, वह नहीं रही। मुझे समझ में नहीं आ रहा। मुझे मेरी बेटी से मिलने भी नहीं दिया जा रहा। मुझे मेरी बच्ची जिंदा चाहिए। यदि बच्ची की मानसिक स्थिति गड़बड़ होती है तो मुख्य आरोपी के खिलाफ साक्ष्य कमजोर हो सकते हैं।
तीन दिन पहले हुआ था झगड़ा
गौरतलब है कि राजधानी भोपाल के कमला नगर क्षेत्र में बालिका गृह में नाबालिग लड़कियों और बालिका गृह की अध्यक्षता के बीच झगड़े का भी मामला सामने आया था। इसमें दोनों पक्षों में मारपीट भी हुई थी और पुलिस को हस्तक्षेप कर मामले को ठंडा कराया गया था। अब उसके 3 दिन बाद इस तरह की घटना सामने आई है।
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