इंदौर, विकाससिंह राठौर। इंदौर (Indore) ने पिछले दिनों चार बड़े आयोजनों की मेजबानी की है। इनमें प्रवासी भारतीय सम्मेलन (Pravasi Bhartiya Sammelan), ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट (Global Investors Summit), जी-20 (G-20) और खेलो इंडिया (Play India) जैसे राष्ट्रीय स्तर के आयोजन शामिल हैं। इंदौर की मेहमाननवाजी से हर मेहमान अभिभूत होकर लौटा, लेकिन इस मेहमाननवाजी में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले होटल संचालक परेशान हैं। आयोजन होने के दो माह बाद भी होटल संचालकों को उनके कमरों और खाने-पीने का भुगतान नहीं किया गया है, जबकि मेहमानों से यह राशि एडवांस ली गई थी। होटलों की बकाया राशि 7 करोड़ रुपए से ज्यादा है।
इंदौर में हुए इन आयोजनों के लिए शहर के 40 से ज्यादा होटलों के 4 हजार से ज्यादा कमरों को बुक किया गया था। सबसे ज्यादा कमरों की जरूरत प्रवासी भारतीय सम्मेलन और ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट के दौरान मेहमानों के लिए पड़ी थी। हर आयोजन के लिए अलग शासकीय विभाग को जिम्मेदारी दी गई थी। जैसे 8 से 10 जनवरी के बीच आयोजित प्रवासी भारतीय सम्मेलन में विदेशों से आने वाले मेहमानों के लिए मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग द्वारा अपनी वेबसाइट के जरिए होटलों की बुकिंग की गई थी, वहीं 11 और 12 जनवरी को आयोजित ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट के लिए मध्यप्रदेश औद्योगिक विकास निगम (एमपीआईडीसी) की वेबसाइट के माध्यम से बुकिंग की गई। दोनों ही विभागों ने सभी होटलों की बुकिंग के लिए ओवरसीज ट्रेवल्स कंपनी को अधिकृत किया था। इसी तरह 30 जनवरी से 11 फरवरी के बीच हुए खेलो इंडिया के लिए थॉमस कुक कंपनी को अधिकृत किया गया था और व्यवस्था जिला प्रशासन द्वारा देखी जा रही थी, वहीं 13 से 15 फरवरी के बीच हुए जी-20 सम्मेलन की कमान भी जिला प्रशासन ने संभाली थी, लेकिन इन सभी आयोजनों में आए मेहमानों और मेजबानों के लिए बुक किए गए होटलों को अब तक भुगतान नहीं किया गया है।
अब होटल संचालक लगा रहे सरकारी विभागों के चक्कर
देश-दुनिया से आए हजारों मेहमानों को विश्वस्तरीय सुविधाएं देने के बाद अब होटल संचालक अपना ही पैसा पाने के लिए सरकारी विभागों और ट्रेवल कंपनियों के चक्कर लगा रहे हैं। होटल संचालकों का कहना है कि पहले दो आयोजनों के लिए पर्यटन विभाग और एमपीआईडीसी की वेबसाइट से ओवरसीज ट्रेवल्स से होते हुए होटलों के पास सिर्फ बुकिंग आई, लेकिन अब तक भुगतान नहीं हुआ है, जबकि इसके लिए मेहमानों ने बुकिंग के वक्त ही एडवांस पैसा जमा किया था, वहीं खेलो इंडिया के लिए थॉमस कुक कंपनी ने 60 प्रतिशत पैसा दिया है और 40 प्रतिशत बाकी है, वहीं जी-20 के लिए भी प्रशासन द्वारा होटल को भुगतान नहीं किया गया है। अब होटल संचालक इन सभी सरकारी विभागों और ट्रेवल कंपनियों से संपर्क कर रहे हैं, लेकिन इंतजार के अलावा कोई ठोस जवाब नहीं मिल रहा है।
छह माह पहले बंद कर दी थी बुकिंग
होटल संचालकों का कहना है कि हमने शहर की छवि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चमकाने के लिए मेहमानों को बेहतर सुविधा देने में कोई कमी नहीं छोड़ी। मेहमानों को आम दिनों की अपेक्षा काफी कम कीमत पर कमरे दिए गए। शासन-प्रशासन के कहने पर हमने छह माह पहले ही बड़े आयोजनों की तारीखों पर होटलों की बुकिंग को बंद कर दिया था। इसमें हमें काफी नुकसान भी उठाना पड़ा और हमारे रेग्युलर मेहमान भी परेशान हुए। आयोजनों के दौरान संबंधित सरकारी विभागों के नेता, मंत्री और अधिकारी भी होटलों में रुके। उनके कमरों और खाने-पीने का भुगतान भी अब तक नहीं हुआ है।
दो माह होने को हैं, भुगतान कब होगा यह भी तय नहीं
शहर के होटल संचालकों ने चारों बड़े आयोजनों के लिए बिना एडवांस पैसों के बुकिंग की। मेहमानों को विश्वस्तरीय सुविधाएं दीं, लेकिन आयोजन होने के दो माह हो गए हैं, लेकिन अब तक भुगतान नहीं हुआ है। यह राशि 7 करोड़ से ज्यादा है। भुगतान के लिए लगातार पर्यटन विभाग, एमपीआईडीसी, ट्रेवल कंपनियों और प्रशासन से संपर्क कर रहे हैं। सभी कह रहे हैं कि जल्द ही भुगतान होगा, लेकिन कब होगा, यह अब तक तय नहीं है। इससे होटल संचालक परेशान हैं। – सुमित सूरी, अध्यक्ष, इंदौर होटलियर्स एसोसिएशन
ऑडिट जारी है, 15 दिनों में भुगतान हो जाएगा
यह सही है कि प्रवासी भारतीय सम्मेलन के दौरान होटलों की बुकिंग का भुगतान अभी नहीं हुआ है। इसके लिए अभी ऑडिट चल रहा है। ऑडिट खत्म होते ही होटलों को भुगतान कर दिया जाएगा। इसमें अधिकतम 15 दिन का समय और लग सकता है। – संदेश यशलाहा, कंपनी सेक्रेटरी, मध्यप्रदेश पर्यटन विभाग
भुगतान शासन की ओर से आना है, कुछ भुगतान हुआ है, शेष जल्द होगा
प्रवासी भारतीय सम्मेलन और ग्लोबल इंवेस्टर्स समिट के लिए होटलों को भुगतान शासन की ओर से होना है। इसमें से कुछ भुगतान हो चुका है और शेष जल्द हो जाएगा। बिलों को लेकर कुछ होटलों से कुछ जानकारियां भी मांगी गई हैं, जिनका वेरिफिकेशन अभी प्रोसेस में है। -भावना जादौन, डायरेक्टर, ओवरसीज ट्रेवल्स
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