डेस्क: रिजर्व बैंक ने रेपो रेट में दो बार लगातार कटौती करते हुए ब्याज दरें 0.50 फीसदी घटा दी हैं. इससे होम, ऑटो सहित सभी तरह के खुदरा लोन भी सस्ते हो गए हैं. आरबीआई के इस फैसले का पूरा फायदा उठाना चाहते हैं तो अपने बैंक से ईएमआई का पैसा घटाने के बजाय इसकी अवधि घटाने की बात करें. इससे आपकी ईएमआई तो उतनी ही आएगी, लेकिन टेन्योर कम हो जाएगा और लोन खत्म होने तक आप लाखों रुपये का ब्याज बचा लेंगे.
बाजार विश्लेषकों का कहना है कि ब्याज में 0.50 फीसदी की कटौती होने से ग्राहकों का बोझ तत्काल कम हो सकता है. ऐसे समय में फाइनेंशियल मार्केट के जानकारों का कहना है कि ग्राहकों को छोटी ईएमआई के बजाय कर्ज की अवधि घटाने की सलाह पर काम करना चाहिए. बैंकबाजार.कॉम के सीईओ आदिल शेट्टी ने बताया कि वैसे ईएमआई की रकम घटाने से ग्राहकों को फौरी तौर पर कुछ पैसों की बचत जरूर हो जाएगी, लेकिन इसके बजाय लोन का टेन्योर घटाना ज्यादा फायदे का सौदा रहेगा.
अगर 40 लाख रुपये के होम लोन को 8.5 फीसदी ब्याज पर 20 साल के लिए उठाया गया है तो इसकी मौजूदा ईएमआई 34,713 होगी और 20 साल के पूरे टेन्योर में आपको 43.31 लाख रुपये ब्याज के रूप में चुकाने होंगे. अब रेपो रेट घटाए जाने के बाद प्रभाीव ब्याज दर होगी 8 फीसदी और ईएमआई 33,458 रुपये. इस लिहाज से पूरे टेन्योर में ब्याज के रूप में आप करीब 3 लाख रुपये बचा लेंगे.
अगर ब्याज दरें घटाने के बावजूद आप अपनी ईएमआई कम करने के बजाय टेन्योर घटाने का फैसला करते हैं तो कितनी बचत होगी. आप ब्याज घटने पर भी पहले जितनी ईएमआई देते हैं तो आपको कर्ज 18.33 साल में खत्म हो जाएगा. इस तरह, ब्याज के रूप में कुल 6.93 लाख रुपये की बचत होगी. इसका मतलब हुआ कि आपने ईएमआई के बजाय टेन्योर का ऑप्शन चुनकर 3.92 लाख रुपये ज्यादा बचाए.
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