प्रयागराज। अतीक और अशरफ की हत्या (Atiq and Ashraf’s murder) से जुड़े कई राज अभी भी दफन हैं। पुलिस अब तक यह पता नहीं लगाई पाई है कि हत्यारों को महंगी पिस्तौल (expensive pistol) किसने दी। हत्यारोंं ने हत्या के बाद जय श्रीराम का नारा लगाया था और उसके बाद यह मामला हिंदू-मुस्लिम (Hindu-Muslim) मोड़ लेता नजर आ रहा है। हत्या करने वाले तीनों आरोपी लवलेश, शनि और अरुण की कानूनी मदद के लिए कई हिंदूवादी संगठन आगे आए हैं। हिंदूवादी नेता चक्रपर्णी ने ऐलान किया कि वह आरोपियों की पैरवी के लिए वकीलों की एक बड़ी टीम उपलब्ध कराएंगे। उधर कुछ अन्य हिंदूवादी संगठनों ने हत्यारों के परिवार को आर्थिक मदद देने का ऐलान भी किया है।
फिर शाइस्ता के सरेंडर करने की अटकलें
उमेश पाल हत्याकांड की आरोपी अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन के आज लगभग एक दर्जन वकीलों के साथ सरेंडर करने की अटकलों को देखते हुए अदालत के बाहर 7 हजार जवानों की तैनाती की गई है। अतीक की बहन आयशा नूरी की सरेंडर अर्जी कोर्ट में पहुंच गई है और वह दोपहर बाद सरेंडर करेगी। संभवत: शाइस्ता भी उसके साथ समर्पण कर सकती है।
अतीक-अशरफ की हत्या के बाद तीन हजार मोबाइल अचानक बंद
अतीक-अशरफ की हत्या के बाद सर्विलांस पर लिए गए तीन हजार मोबाइल फोन अचानक बंद हो गए, जिसको लेकर जांच एजेंसियां अलर्ट हो गई हैं। जिन लोगों के फोन बंद हुए हैं, उनमें से अधिकतर अतीक के दूरदराज के रिश्तेदार और संपर्क वाले बताए जा रहे हैं। हालांकि कॉल डिटेल के आधार पर एसटीएफ ने अब फिर से मुखबिरों की मदद लेना शुरू कर दिया है।
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