भोपाल। कोविड-19 के दौरान ग्वालियर-चंबल में राजनीतिक आयोजनों में हजारों की संख्या में भीड़ उमडऩे पर हाईकोर्ट ने रोक लगा दी है। हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने अपने आदेश में कहा- कानून का सम्मान व पालन हर किसी को करना चाहिए, चाहे वह आम आदमी हो या राजनीतिक व्यक्ति या फिर राज्य का मुखिया। आप चाहे कितने भी बड़े क्यों ना हो, कानून आप से ऊपर है। कोर्ट ने इस मामले में शासन, कलेक्टर और एसपी को नोटिस जारी करने का निर्देश दिया है। मामले की अगली सुनवाई 28 सितंबर वाले सप्ताह में नियत की गई है।
ग्वालियर-चंबल अंचल में आए दिन हो रहे राजनीतिक आयोजनों पर रोक लगाने की मांग करते हुए जनहित याचिका दायर की गई है। इसमें हाल ही में हुए आयोजनों से संबंधित फोटोग्राफ भी कोर्ट में पेश किए गए। हालांकि, कोर्ट ने कहा कि इस स्थिति में बिना पर्याप्त साक्ष्य के यह नहीं कहा जा सकता कि ये फोटोग्राफ उक्त आयोजनों के हैं। यदि फोटोग्राफ इन्हीं आयोजनों के हैं, जिनका उल्लेख याचिका में किया गया है, तो ऐसा प्रतीत होता है कि प्रशासनिक व राजनीतिक तंत्र ने बेहद गैर जिम्मेदाराना रवैया अपनाया है।
राजधानी में रात 10:30 से सुबह 6 बजे तक ‘इमरजेंसी’
प्रदेश में कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच भोपाल जिला प्रशासन ने एक बार फिर से रात का कफर््यू लागू कर दिया है। जिसके तहत लोग रात 10: 30 बजे सुबह 6 बजे तक इमरजेंसी में ही घर से बाहर निकल पाएंगे। साथ ही दवा और खाने-पीने की दुकानें छोड़ सभी दुकानें 8 बजे तक बंद करनी होंगी। 10 साल से कम और 65 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों को घर से नहीं निकल सकते। राजधानी में सभी दुकानें रात 8 बजे तक बंद करनी होगी। केवल केमिस्ट, रेस्टोरेंट, भोजनालय, राशन एवं खानपान से संबंधित दुकानें निर्धारित समय तक खुली रहेंगी।
©2024 Agnibaan , All Rights Reserved