नई दिल्ली: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले की जांच के सिलसिले में हीरो मोटोकॉर्प (Hero Motocorp) के कार्यकारी चेयरपर्सन पवन कांत मुंजाल (Pawan Munjal) एवं कुछ अन्य के परिसरों पर मंगलवार हुई छापेमारी में करीब 25 करोड़ रुपये मूल्य की विदेशी और भारतीय मुद्राएं, सोने तथा हीरे के आभूषणों के अलावा कुछ ‘आपत्तिजनक’ दस्तावेज जब्त किए हैं. ईडी ने मुंजाल के दिल्ली तथा गुरुग्राम स्थित आवासीय एवं कारोबारी परिसरों समेत कुछ अन्य ठिकानों पर छापेमारी की थी. कंपनी चेयरमैन के ठिकानों पर ईडी की छापे के बाद से ही हीरो मोटोकॉर्प के शेयर दबाव में है. 1 अगस्त को शेयर करीब 5 फीसदी गिर गया तो 2 अगस्त को शेयर 3.55 फीसदी गिरकर बंद हुआ. आज भी हीरो मोटोकॉर्प का शेयर लाल निशान में खुला.
प्रवर्तन निदेशालय द्वारा जारी बयान के अनुसार, थर्ड पार्टी सर्विस प्रोवाइडर कंपनी सॉल्ट एक्सपीरियंस एंड मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड (SEMPL) ने 2014-2015 से 2018-2019 की अवधि के दौरान विभिन्न देशों में करीब 54 करोड़ रुपये के बराबर विदेशी मुद्रा को अवैध तरीके से भेजा. इसका इस्तेमाल मुंजाल के निजी खर्चों के लिए किया गया. बयान के अनुसार, पीके मुंजाल, हेमंत दहिया, केआर रमन, हीरो मोटोकॉर्प लिमिटेड और हीरो फिनकॉर्प लिमिटेड के आवासीय तथा व्यावसायिक परिसर में छापेमारी के दौरान करीब 25 करोड़ रुपये की विदेशी तथा भारतीय करेंसी, सोने तथा हीरे के आभूषणों के अलावा कुछ आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए गए हैं.
DRI की शिकायत पर हो रही है जांच
ईडी मुंजाल के खिलाफ जांच डायरेक्टोरेट ऑफ रेवेन्यु इंटेलिजेंस (Directorate of Revenue Intelligence) द्वारा दर्ज की गई शिकायत के आधार पर कर रही है. पीके मुंजाल, उनके सहयोगी, अमित बाली, हेमंत दहिया और केआर रमन के खिलाफ डीआरआई ने शिकायकत दर्ज कराई थी. अमित बाली, हेमंत दहिया और के.आर. रमन एसईएमपीएल से जुड़े हैं. इन पर आरोप है कि इन्होंने विदेशी करेंसी को अवैध तरीके से विदेशों में भेजा है. हीरो मोटोकॉर्प ने अगस्त 2018 में मुंजाल की लंदन की व्यावसायिक यात्रा की व्यवस्था करने के लिए इस कंपनी की सेवा ली थी.
एसईएमपीएल ने बाहर भेजी विदेशी मुद्रा
ईडी का कहना है कि जांच में पता चला है कि पीके मुंजाल के एक निकट सहयोगी ने करीब 40 करोड़ रुपये मूल्य की विदेशी मुद्रा को अवैध तरीके से एक्सपोर्ट किया. इस पैसे का इस्तेमाल मुंजाल की विदेश यात्राओं के खर्च के लिए किया गया. ईडी का कहना है कि एसईएमपीएल ने भी करीब 54 करोड़ रुपये मूल्य की फॉरेन करंसी को अवैध तरीके से कई देशों में भेजा. यही नहीं कंपनी ने करीब 14 करोड़ रुपये अपने अधिकारियों और कर्मचारियों की विदेश यात्रा के नाम पर एक्सचेंज किए. कंपनी ने ट्रेवल फॉरेक्स कार्ड के जरिए भी बड़ी मात्रा में विदेशी मुद्रा निकाली. ये कार्ड कंपनी के कर्मचारियों को जारी किए गए थे. जबकि इन कर्मचारियों ने कभी विदेश यात्रा की ही नहीं.
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