– सुरेजवाला बोले- प्रधानमंत्री का ‘देश नहीं बिकने दूंगा’ का मतलब ‘देश में कुछ भी बिकने से नहीं बचने दूंगा।’
नई दिल्ली। आर्थिक अस्थिरता की समस्या से पहले से जूझ रही भारतीय अर्थव्य्वस्था कोरोना संकट काल में और प्रभावित हुई है। ऐसे में केंद्र सरकार लगातार सरकारी उपक्रमों में अपनी हिस्सेदारी बेचने की योजना पर काम कर रही है। केंद्र के इसी कदम पर प्रमुख विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने हमला बोला है।
कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला का कहना है कि बड़े उद्योगपतियों के लाभ के लिए सरकारी संस्थानों के शेयर बेचे जा रहे हैं। पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि शायद प्रधानमंत्री का ‘मैं देश नहीं बिकने दूंगा’ का मतलब था ‘देश में कुछ भी बिकने से नहीं बचने दूंगा।’ उन्होंने तंज कसते हुए कहा- मोदी है तो मुमकिन है।
रणदीप सिंह सुरजेवाला ने सोमवार को ट्वीट कर सरकारी कंपनियों को बेचने के मुद्दे पर मोदी सरकार को घेरा। उन्होंने कहा, “देश की 26 सरकारी कम्पनी और बेची जाएंगी, 70 साल में जो भी बनाया था ये सब बेच डालेंगे। और मोदी जी सत्ता में क्या कहकर आए थे… ‘मैं देश नहीं बिकने दूंगा’ मतलब था…‘देश में कुछ भी बिकने से नहीं बचने दूंगा।’ मोदी है तो यही मुमकिन है। उन्होंने कहा कि सरकार का यह फैसला किसी भी तरह से देश की आर्थिक स्थिति को सुधारने के बजाय बेरोजगारी को बढ़ावा दे रहा है।
दरअसल, वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बीते 27 जुलाई को एक अहम घोषणा की थी कि केंद्र सरकार ने 23 सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों के निजीकरण का फैसला लिया है। इसे कैबिनेट से हरी झंडी भी मिल चुकी है। इसके बाद सूचना के अधिकार (आरटीआई) के तहत मांगी गई जानकारी में उन 26 कंपनियों की जानकारी मिली है, जिनका निजीकरण होना है। इनमें एक तरफ जहां एयर इंडिया को खरीदार की तलाश है, वहीं रेलवे में भी प्राइवेट ट्रेन चलाने की शुरुआत हो चुकी है। सरकार के इसी कदम के बाद से कांग्रेस सरकार के प्रति हमलावर है। (एजेंसी, हि.स.)
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