वाशिंगटन (Washington.)। गूगल (Google ) की ईमेल सर्विस यानी (Gmail) का इस्तेमाल करने वाले यूज़र्स अक्सर स्पैम मेल से काफी परेशान रहते हैं. जीमेल के इनबॉक्स (gmail inbox) में हजारों स्पैम मेल भर जाते हैं, जिनका यूज़र्स को कोई काम नहीं होता और वो आसानी से डिलीट भी नहीं होते हैं. ऐसे में यूजर्स के लिए जीमेल ने अपनी स्पैम पॉलिसी को अपडेट किया है. जीमेल की इस नई पॉलिसी की वजह से यूजर्स को आने वाले स्पैम मैसेजों में कमी आएगी. गूगल अप्रैल 2024 से धीरे-धीरे इस नीति को लागू करने जा रहा है, जिसकी वजह से उन मार्केटिंग एजेंसियों पर सीधा असर पड़ेगा जो सर्विस या प्रॉडक्ट का प्रचार करने के लिए सीधा इमेल्स भेजती हैं.
नए नियमों के तहत, बल्क सेंडर्स के ईमेल को जीमेल के सेंडर्स गाइडलाइन्स के अनुसार प्रमाणित किया जाएगा. अगर कोई सेंडर बड़ी संख्या में गैर-जरूरी ईमेल भेजता पाया जाता है, तो उन ईमेल का एक हिस्सा जीमेल द्वारा रिजेक्ट कर दिया जाएगा. गूगल ने स्पैम को फ़िल्टर करने के लिए प्रतिशत को स्पेसिफाई नहीं किया है, लेकिन कंपनी ने बल्क सेंडर्स को स्पष्ट रूप से चेतावनी दी है कि वे अपनी स्पैम रेट पर नज़र रखें.
जीमेल यूजर्स को मिलेगी नई सुविधा
जब यूज़र किसी खास सेंडर के ईमेल्स को नज़रअंदाज़ करेंगे तो जीमेल को इसका पता चल जाएगा. इस डेटा का उपयोग करके कंपनी इस चीज की निगरानी करेगी कि कौनसे बल्क सेंडर्स गैर-जरूरी इमेल्स भेजते हैं. अभी तक जीमेल सिर्फ यूज़र्स को सिर्फ सेंडर्स को अनसब्क्राइब करने का सुझाव दे रहा था, लेकिन अब जीमेल की नई पॉलिसी ऐसे फालतू ईमेल्स को अपने इनबॉक्स में आने ही नहीं देगी.
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